Jaipur News: महिला उत्पीड़न के आंकडे़ विभाग के लिए बनीं चिंता का विषय, राजधानी में सबसे ज्यादा शिकायतें हुई दर्ज
Jaipur News: राजस्थान में महिलाओं पर अत्याचार पर कमी नहीं आ रही है. महिलाओं के अत्याचार के बढ़ते आंकडे़ आधी आबादी का नेतृत्व करने वाले विभाग महिला अधिकारिता विभाग की चिंता बढ़ गई. पिछले एक साल में 18 हजार से ज्यादा महिलाओं के अत्याचार की शिकायतें दर्ज हुई है. जिसमें से जयपुर जिले में सबसे ज्यादा शिकायतें दर्ज हुई.
Jaipur today News: राजस्थान सरकार में महिला उप मुख्यमंत्री दीया कुमारी भी महिलाओं की सभा में महिला सुरक्षा की बात तो करती हैं, लेकिन प्रदेश में महिलाओं पर अत्याचार पर कमी नहीं आ रही है. महिलाओं के अत्याचार के बढ़ते आंकडे़ आधी आबादी का नेतृत्व करने वाले विभाग महिला अधिकारिता विभाग की चिंता बढ़ गई. पिछले एक साल में 18 हजार से ज्यादा महिलाओं के अत्याचार की शिकायतें दर्ज हुई हैं. जिसमें से जयपुर जिले में सबसे ज्यादा 4270 अत्याचारों पर शिकायतें दर्ज हुई.
महिला अधिकारिता विभाग के आंकडे़
महिला अधिकारिता विभाग के डेटा के अनुसार प्रदेश में कुल 246 महिला सुरक्षा एवं सलाह केंद्र संचालित हैं. इन केन्द्रों पर महिलाएं अपनी शिकायतें लेकर पहुंचती हैं. जहां पर महिलाओं की शिकायतों के बारे में सुना जाता है और काउंसिलिंग की जाती है. वहीं महिलाओं को उनके अधिकारों के बारे में कानून की जानकारी दी जाती है.
प्रदेश में पिछले एक साल में महिलाओं पर अत्याचार पर करीब 18 हजार मामले महिलाओं ने दर्ज करवाए हैं. महिलाओं पर अत्याचार मामलों में जिसमें देहशोषण, दहेज, डोमेस्टिक वायलेंस जैसी शिकायतें सबसे ज्यादा दर्ज हुई हैं.
महिलाओं पर अत्याचार के सत्र 2023-24 के मामलों के आकड़े
जयपुर में 4270 शिकायतें, जोधपुर में 1154 शिकायतें, कोटा में 1107 शिकायतें अलवर में 1091 शिकायतें, भीलवाड़ा में 824 शिकायतें, टोंक में 711 शिकायतें, उदयपुर में 393 शिकायतें, सीकर में 610 शिकायतें, अजमेर में 595 शिकायतें दर्ज हुई हैं.
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महिला अधिकारिता विभागीय डेटा के अनुसार सबसे ज्यादा शिकायतें जयपुर जिलें से आई है. इसके बाद जोधपुर, कोटा, अलवर, समेत अन्य जिलों से शिकायतें दर्ज हैं. एक साल में महिलाओं पर अत्याचार की शिकायतों के आंकडे़ बेहद ही चौकाने वाले हैं. जहां सरकार बैठती है सभी विभागों के आलाधिकारी बैठते हैं. उस जिलें में महिलाओं पर अत्याचार के यह हालात हैं, तो प्रदेश के अन्य जिलों में महिलाओं की क्या स्थिति होगी.
महिला अत्याचार के आंकडों ने महिला अधिकारिता विभाग के होश उड़ा दिए. क्या राज्य सरकार पर जूं रेंगेगी, सरकार महिलाओं को सुरक्षित वातावरण मुहैया कराएगी या प्रदेश में महिलाओं पर अत्याचार के ऐसे ही हालात बने रहेंगे.