किरोड़ी मीणा ने REET पेपर लीक में जारोली को क्लीन चिट दिए जाने पर कहा, ताकि बड़े मगरमच्छ ना पकड़े जाएं
रीट पर्चा लीक को लेकर एक बार फिर सांसद किरोड़ीलाल मीणा ने सवाल उठाए. बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष डीपी जारोली को एसओजी की क्लीन चिट पर सवाल उठाए हैं.किरोड़ी बोले- अगर जारोली क्लीन हैं, तो सरकार ने डीपी चारोली को बर्खास्त क्यों किया था?
Jaipur: रीट पर्चा लीक को लेकर एक बार फिर सांसद किरोड़ीलाल मीणा ने सवाल उठाए. बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष डीपी जारोली को एसओजी की क्लीन चिट पर सवाल उठाए हैं.किरोड़ी बोले– अगर जारोली क्लीन हैं, तो सरकार ने डीपी चारोली को बर्खास्त क्यों किया था? बर्खास्तगी के बाद जारोली ने खुद राजनीतिक संरक्षण की बात मानी थी. इससे स्पष्ट, कि जारोली की रीट पेपर लीक में भूमिका थी.
सरकार ने जारोली को इसलिए क्लीन चिट दी, ताकि बड़े मगरमच्छ ना पकड़े जाएं. डीपी जालोरी को रीट मामले में एसओजी की क्लीन चिट के बाद किरोड़ीलाल मीणा का सवाल उठाए है. मीणा ने कहा जब परीक्षा पूरे प्रदेश में 25 सितंबर को होनी थी तो उसके पहले यानि 24 सितंबर को जारोली शिक्षा संकुल में क्या कर रहे थे?
किरोड़ी ने पूछा, आखिर इस क्लीन चिट का राज क्या है? मुखिया जी प्रदेश की जनता जानना चाहती है. 26 लाख युवाओं के भविष्य खिलवाड़ करने वाले मगरमच्छों को बचाने की सरकार कितनी भी कोशिश कर ले इन डकैतों पर गाज जल्द ही गिरने वाली है.
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बता दें कि लेवल 2 पेपर लीक मामले में एसओजी ने माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के तत्कालीन चैयरमेन डीपी जारोली को क्लीन चिट दे दी है. एसओजी की ओर से हाईकोर्ट को इस संबंध में जानकारी दी गई. वहीं अदालत ने मामले में अंतिम बहस 25 जुलाई को रखते हुए सरकार को कहा है कि वह जिन याचिकाओं में जवाब पेश करना चाहे, उनमें जवाब पेश कर सकती है. जस्टिस एमएम श्रीवास्तव और जस्टिस अनूप ढंड की खंडपीठ ने यह आदेश मधु नागर और एबीवीपी सहित अन्य की याचिकाओं पर दिए. वहीं अदालत ने एसओजी के अफसरों को अदालत में व्यक्तिगत उपस्थिति से भी छूट दे दी है.
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