Rajasthan News: राजस्थान के ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर ने दिल्ली में केंद्रीय विद्युत मंत्री मनोहर लाल तथा केन्द्रीय कोयला एवं खान मंत्री जी. किशन रेड्डी से मुलाकात की. इस दौरान नागर ने दोनों केंद्रीय मंत्रियों के समक्ष प्रदेश में बिजली एवं कोयले की आपूर्ति में सुधार से जुड़े मुद्दों को प्रमुखता से रखा. इस पर केंद्रीय मंत्रियों ने पूर्ण सहयोग प्रदान करने का आश्वासन दिया. 


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केंद्रीय विद्युत मंत्री से संसद भवन स्थित कक्ष में हुई मुलाकात के दौरान प्रदेश में विद्युत तंत्र के सुदृढ़ीकरण, नए 33/11केवी जीएसएस निर्माण, फीडर सेपरेशन के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्रों में उपभोक्ताओं को बिजली की बेहतर आपूर्ति सहित अन्य विषयों पर विस्तृत चर्चा हुई. केंद्रीय बिजली मंत्री ने नागर को आश्वस्त किया कि राजस्थान के विद्युत तंत्र के सुदृढ़ीकरण के लिए आरडीएसएस योजना के माध्यम से जो प्रस्ताव राजस्थान सरकार की ओर से आएंगे उन्हें सकारात्मक दृष्टिकोण के साथ स्वीकृति प्रदान की जाएगी. 


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उल्लेखनीय है कि केन्द्र एवं राज्य की 60 अनुपात 40 की वित्तीय भागीदारी से यह योजना संचालित होती है. ऊर्जा मंत्री ने बताया कि राजस्थान की ओर से इस योजना में 10 हजार करोड़ रुपयों के कार्यों के प्रस्ताव मंजूरी के लिए भिजवाए जाने हैं. नागर ने केन्द्रीय विद्युत मंत्री को राजस्थान के प्रवास पर आने के लिए आमंत्रित किया. मनोहर लाल ने कहा कि वे बजट सत्र के बाद इस संबंध में केन्द्रीय अधिकारियों से चर्चा कर राजस्थान के दौरे की रूपरेखा तैयार करेंगे. 


 



शास्त्री भवन में कोयला मंत्री रेड्डी से हुई मुलाकात के दौरान नागर ने उन्हें कोयले की आपूर्ति एवं इसके खनन से संबंधित प्रदेश हित से जुड़े मुद्दों से अवगत कराया. उन्होंने रेड्डी को बताया कि राजस्थान को आवंटित कैप्टिव माइंस हस्तांतरित हो जाती है, तो कोयले की कोई कमी नहीं रहेगी तथा कोल इंडिया एवं अन्य स्रोतों से कोयले की खरीद पर होने वाले 40 प्रतिशत के अतिरिक्त वित्तीय भार का बोझ नहीं उठाना पड़ेगा. इसका लाभ प्रदेश के बिजली तंत्र एवं उपभोक्ताओं को होगा. रेड्डी ने इस संबंध में केंद्र सरकार के स्तर पर हर संभव सहयोग का भरोसा दिलाया.