Jaipur News: राजधानी जयपुर के श्याम नगर इलाके में हुए सुखदेव सिंह गोगामेड़ी हत्याकांड के मामले में दिल्ली पुलिस की मदद से जयपुर पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है. पुलिस ने मामले में दो शूटर नितिन फौजी, रोहित राठौर और उन्हें पनहा देने वाले उधम सिंह व रामवीर जाट को गिरफ्तार किया है. पुलिस ने दिल्ली स्पेशल टीम की मदद से चंडीगढ़ के सेक्टर 22 स्थित एक गेस्ट हाउस से दोनों शूटर नितिन, रोहित और उधम सिंह को गिरफ्तार किया. 


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सुखदेव सिंह गोगामेडी हत्याकांड में गिरफ्तार किए गए शूटर रोहित राठौड़ और सहयोगी उधम सिंह को दिल्ली पुलिस कड़ी सुरक्षा के बीच जयपुर लेकर आई, जबकि जयपुर पुलिस पहले ही नितिन फौजी को जयपुर ले आई. पूछताछ के दौरान सामने आया है कि नितिन फौजी ने अपने साथी भवानी सिंह उर्फ रोनी के कहने पर सुखदेव सिंह गोगामेडी की हत्या की. हत्या के लिए नितिन फौजी जयपुर आया, जिसकी मदद रामवीर सिंह जाट ने की. नितिन फौजी की मुलाकात जयपुर में रोहित राठौर और नवीन से हुई. हत्या को अंजाम देने से पहले तीनों एक दूसरे से अनजान थे. नितिन फौजी को हत्या से कुछ घंटे पहले ही सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की फोटो उपलब्ध कराई गई थी.  


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इतना ही नहीं जिगाना पिस्टल और कारतूस जयपुर में किसी अनजान बदमाश ने उपलब्ध कराए. नवीन पहले से ही गोगामेडी से परिचित था, ऐसे में रोहित राठौड़ और नितिन फौजी को सुखदेव सिंह के घर लेकर गया, जहां पर अंधाधुंध फायरिंग कर शूटर्स ने सुखदेव सिंह गोगामेड़ी और नवीन की हत्या कर डाली. 


हत्या की पूरी साजिश रोहित गोदारा के खास गुर्गे वीरेंद्र सिंह चारण ने रची थी. बताया जा रहा है कि हरियाणा के राहुल, सुमित और भवानी सिंह को सुखदेव सिंह गोगामेडी की हत्या करने का टास्क वीरेंद्र चारण के जरिए मिला था लेकिन तीनों ही आरोपी किसी मामले में पुलिस के हत्थे चढ़ गए. ऐसे में रोनी ने नितिन फौजी को गोगामेड़ी की हत्या के लिए तैयार किया. 


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जांच पड़ताल के दौरान सामने आया है कि रोहित का भी पहले से ही वीरेंद्र चारण से संपर्क था. नितिन फौजी ने अपना नाम कमाने, लॉरेंस और रोहित गोदारा की तर्ज पर बड़ा मुकाम हासिल करने के मकसद से रोहित राठौड़ के साथ मिलकर इस पूरे हत्याकांड को अंजाम दिया. हालांकि अभी तक पुलिस की पकड़ से वीरेंद्र चारण दूर है. 


अभी तक सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या के पीछे के कारणों का पता नहीं चल पाया है, जब तक वीरेंद्र चरण पुलिस की पकड़ में नहीं आ जाता है तब तक इस पूरे मामले पर सस्पेंस बरकरार रहेगा कि आखिरकार सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या क्यों की गई?