RAS Exam 2021: गहलोत सरकार और आयोग को हाईकोर्ट का बड़ा झटका, अब ये बड़ा कदम उठायेगा RPSC!
RAS Exam 2021: अजमेर राजस्थान लोक सेवा आयोग आरएएस प्री परीक्षा 2021 (RAS PRE Exam 2021) का परिणाम रद्द हो गया है. हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने परिणाम को रद्द किया है. अब इस मामले में RPSC फैसले के खिलाफ ये कदम उठा सकता है.
Jaipur: अजमेर राजस्थान लोक सेवा आयोग आर ए एस प्री परीक्षा 2021 (RAS PRE Exam 2021) का परिणाम रद्द हो गया है. हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने परिणाम को रद्द किया है. अब इस मामले में RPSC फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट की डबल बेंच जा सकती है. 27 अक्टूबर 2021 को आयोजित की गई इस परीक्षा में 386000 अभ्यर्थियों ने उपस्थिति दर्ज करवाई थी. 19 नवंबर 2021 को परिणाम जारी किया गया था . 20102 अभ्यर्थी हुए थे प्री परीक्षा में सफल घोषित हुए थे. परिणाम रद्द किए जाने से मुख्य परीक्षा पर भी संकट के बादल गहरा गए है. आर ए एस मुख्य परीक्षा (RAS Main Exam 2021) भी अब स्थगित हो सकती है.
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आरएएस भर्ती की प्रारंभिक परीक्षा को रद्द करने से जुड़ा मामले में आरपीएससी (RPSC) की ओर से एकलपीठ के आदेश को चुनोती देने की कवायद मामले में ली जा रही है विधिक सलाह हालांकि अभी तक नहीं मिली है. एकलपीठ के आदेश की कॉपी आदेश की कॉपी मिलने के बाद ही अपील दायर करने पर निर्णय हो पाएगा.
हम आपको बता दें कि RAS प्रारंभिक परीक्षा परिणाम को रद्द किया गया है. हाईकोर्ट ने प्रारंभिक परीक्षा के परिणाम को रद्द किया है. साथ ही विवादित पांच प्रश्नों को विशेषज्ञ कमेटी के समक्ष भेजा है. जस्टिस महेंद्र गोयल ने ये आदेश दिए है. अंकित कुमार शर्मा और अन्य की याचिका पर ये आदेश दिए है. याचिका में उत्तर कुंजी के कुछ जवाबों को गलत बताया गया था. याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता रामप्रताप सैनी ने पक्ष रखा. वहीं, आयोग की ओर से अधिवक्ता अमित लुभाया ने पक्ष रखा है. एग्जाम रद्द होने की खबर मिलने के बाद RAS Mains परीक्षा को स्थगित करने की मांग को लेकर धरना प्रदर्शन कर रहे अभ्यर्थी खुशियां मनाते नजर आए. आपको बता दें कि कल सीएम गहलोत की परीक्षा रद्द नहीं होने की घोषणा के बाद से अभ्यर्थी आमरण अनशन पर बैठ गये थे.
RAS अभ्यर्थियों के समर्थन में अब पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और राज्यसभा सांसद किरोड़ी लाल मीणा समेत विपक्ष और सत्ता पक्ष के जनप्रतिनिधि भी सरकार से भर्ती परीक्षा आगे बढ़ाने की मांग कर रहे थे. पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने कहा था कि पाठ्यक्रम में हुए बदलाव की वजह से अभ्यर्थियों को तैयारी के लिए और समय दिया जाना चाहिए. ऐसे में सरकार को जल्द से जल्द अपनी हठधर्मिता को छोड़ मुख्य परीक्षा आगे बढ़ानी चाहिए.