Jaipur: लंबित भर्तियों को पूरा करने, नई भर्तियों की विज्ञप्ति जारी करने, बाहरी राज्यों का कोटा निर्धारित करने या समाप्त करने, भर्ती परीक्षाओं का कैलेंडर जारी करने, भर्तियों में साक्षात्कार प्रक्रिया खत्म करने, कंप्यूटर शिक्षक भर्ती का सिलेबस और विज्ञप्ति जारी करने सहित करीब दो दर्जन मांगों को लेकर आज प्रदेशभर के बेरोजगारों ने जयपुर में धरने दिया. 


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22 गोदाम सर्किल के पीछे पेट्रोल पंप के पास दिए गए इस धरने में बड़ी संख्या में बेरोजगारों ने अपनी मांग उठाई.


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राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ (Rajasthan Unemployed Unified Federation) की ओर से आज करीब दो दर्जन मांगों को लेकर जयपुर में अनिश्चितकालीन पड़ाव शुरू कर दिया गया है. अपनी मांगों को लेकर लम्बे समय से संघर्ष कर रहे बेरोजगारों ने अब आर-पार की लड़ाई का ऐलान कर दिया है. 


क्या कहना है राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ अध्यक्ष का
राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ अध्यक्ष उपेन यादव (Upen Yadav) का कहना है कि "बेरोजगारों के हितों के बारे में सोचने वाले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत हमेशा बेरोजगार हितैशी रहे हैं. साथ ही उन्होंने भर्तियों को समय पर पूरा करवाने के निर्देश भी दे रखे हैं लेकिन इसके बाद भी विभागों के अधिकारी और मंत्री लापरवाह बने हुए हैं. ऐसे में जब तक उनकी तमाम मांगें पूरी नहीं हो जाती, तब तक उनका आंदोलन जा रहेगा."


करीब दो दर्जन मांगों को लेकर बेरोजगारों का अनिश्चितकालीन धरना


  • लंबित भर्तियों को पूरा करने, नई भर्तियों की विज्ञप्ति जारी करने

  • बाहरी राज्यों का कोटा समाप्त करने या निर्धारित करने

  • भर्ती परीक्षाओं का कैलेंडर जारी करने, परीक्षा पारदर्शी तरीके से करवाने

  • भर्तियों में साक्षात्कार की प्रक्रिया समाप्त करवाने

  • फर्जीवाड़ा करने और करवाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने

  • सहित करीब दो दर्जन मांगों को लेकर बेरोजगारों ने धरना किया शुरू


क्या कहना है बेरोजगारों का
विभिन्न भर्तियों को लेकर जयपुर में जुटे बेरोजगारों का कहना है कि "करीब आधा दर्जन भर्तियां 5 से 7 साल से लंबित पड़ी हैं लेकिन सरकार की ओर से कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है. स्कूल व्याख्याता भर्ती 2018 में पद कम करने का मामला हो या फिर रीट अध्यापक पात्रता परीक्षा 2018 का, फार्मासिस्ट भर्ती पूरी करने की मांग हो या फिर दंत चिकित्सकों की भर्ती निकालने की. हर मांग को लेकर विभाग और मंत्रियों द्वारा सिर्फ आश्वासन ही दिया जाता है लेकिन इनको पूरा नहीं किया जाता है, ऐसे में जब तक मांगें पूरी नहीं होंगी तब तक आंदोलन जारी रहेगा."


बहरहाल, प्रशासन की ओर से कोरोना की संभावित तीसरी लहर के चलते सामूहिक कार्यक्रमों और भीड़भाड़ वाले कार्यक्रमों पर रोक लगा दी गई  है, जिसके बाद धरने प्रदर्शन की अनुमति नहीं दी गई थी लेकिन इसके बाद भी प्रदेशभर से पीड़ित बेरोजगार अपनी मांगों को लेकर जयपुर में जुटे हैं. साथ ही प्रशासन द्वारा वार्ता नहीं होने पर अनिश्चितकालीन धरने की चेतावनी भी बेरोजगारों की ओर से दे दी गई है.