Rajasthan crime news: राजस्थान, झालावाड़ जिले के भवानीमंडी के एक निजी अस्पताल में उपचार करवाने पहुंचे दंपत्ति की चार बदमाशों ने चाकू व बेसबॉल डंडों से हमला कर निर्मम हत्या कर दी थी. घटना की सीसीटीवी फुटेज में साफ दिखाई दे रहा था,कि वारदात कितनी हैवानियत भरी थी. सनसनीखेज वारदात में शामिल आरोपियों की धरपकड़ में जुटी झालावाड़ पुलिस ने तीन आरोपियों को रावतभाटा व चौथे आरोपी को रामगंजमंडी से गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है.


स्पेशल टीम को भी बुलाया गया


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झालावाड़ पुलिस अधीक्षक ऋचा तोमर ने एक प्रेस वार्ता में खुलासा करते हुए बताया कि गुरूवार को भवानीमंडी के निजी अस्पताल में हुए दोहरे हत्याकांड के तुरंत बाद आरोपियों की गिरफ्तारी हेतु जिले के विभिन्न थाने सहित जिला स्पेशल टीम को भी बुलाया गया. मुलजिमान की गिरफ्तारी हेतु 10 टीमे गठित की गईं. सभी टीमों को कोटा,रामगंजमंडी,मध्यप्रदेश व राजस्थान के अन्य संभावित जगह पर रवाना किया.


 चारों आरोपियों को 24 घण्टे के अदंर गिरफ्तार किया


ट्रेसिंग के दौरान दो टीमे रावतभाटा पहुंची और सभी होटल,धर्मशालाओ को चैक किया गया.इस दौरान एक धर्मशाला से भैरू गुर्जर, करण गुर्जर एवं दिनेश भील को डिटेन कर लिया गया. एक अन्य टीम ने रामगंजमंडी थाना पुलिस की मदद से शाहनूर उर्फ नूरा पुत्र नवाज खान को भी रामगंज मंडी से गिरफ्तार कर लिया. इस प्रकार घटना में शामिल चारों आरोपियों को 24 घण्टे के अन्दर गिरफ्तार कर लिया गया.


काफी समय से पुरानी रंजिश चल रही थी


एसपी रिचा तोमर ने बताया कि मुख्य आरोपी भैरु गुर्जर व मृतक जितेन्द्र सिंह थाना सुनेल के रहने वाले एंव आपराधिक प्रवृति के व्यक्ति है,जो पहले साथ रहकर अपराध करते थे.पिछले कुछ समय से ये दोनो ही भेसोदामंडी एमपी व भवानीमंडी राजस्थान में निवास करने लगे. इन दोनों में सम्पति को लेकर काफी समय से पुरानी रंजिश चल रही थी. उसी को लेकर मुख्य आरोपी भैरू गुर्जर द्वारा साथियों के साथ हत्याकांड को अंजाम दिया गया. आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस द्वारा 10 हजार रुपए का इनाम भी घोषित किया गया था.


शव उठाने से इनकार कर दिया था


उधर भवानीमंडी में हुए डबल मर्डर मामले को लेकर करणी सेना ने जिला चिकित्सालय मोर्चरी के बाहर प्रदर्शन करते हुए शव उठाने से इनकार कर दिया था. उनकी मांगे थी कि पीड़ित परिवार को 5 लाख रु मुआवजा और सरकारी नौकरी मिले.


इसके बाद करणी सेना के पदाधिकारी एवं अतिरिक्त जिला पुलिस अधीक्षक व उपखंड अधिकारी संतोष मीणा के बीच लंबी वार्ता हुई,जिसमें मृतक की पहली पत्नी को कैस ऑफिसर स्कीम के तहत मुआवजा व संविदा पर नौकरी लगाने तथा पीड़ित प्रतिकार के तहत 5 लाख रुपए तक आर्थिक सहायता दिलवाने को लेकर सहमति बनी. जिसके बाद मृतक का शव परिजनों को सौंप दिया गया.


झालावाड़ पुलिस का एक्शन


बहरहाल झालावाड़ पुलिस चाहे चारों आरोपियों की गिरफ्तारी कर अपनी पीठ थपथपा रही हो,लेकिन दिनदहाड़े एक निजी अस्पताल में हुए दोहरे हत्याकांड से भवानीमंडी कस्बे सहित जिले में दहशत का माहौल है.


लोगों ने कानून व्यवस्था और पुलिस की भूमिका पर भी सवाल उठाए हैं. स्थानीय नागरिकों ने कहा कि अपराधियों के हौसले बढ़ रहे,जिससे आम आदमी दहशत में है. पुलिस को ऐसे अपराधियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्यवाही करनी चाहिए,जिससे पुलिस का इकबाल कायम रहे.


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