Jhunjhunu News: शिक्षा नगरी पिलानी की परेशान जनता को यह नहीं समझ आ रहा कि आखिर कचरे की समस्या के निस्तारण के लिए वे किससे बात करें. जिन पार्षदों को जनता ने चुनकर बोर्ड का मेम्बर बनाया, वे नगरपालिका प्रशासन पर भ्रष्टाचार का आरोप लगा कर सफाई का नया टेंडर नहीं होने दे रहे.


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पालिका प्रशासन ने भी टेंडर नहीं होने देने का ठीकरा पार्षदों के मत्थे फोड़ कर समस्या से पल्ला झाड़ लिया है. जानकारों का कहना है कि ठोस अपशिष्ट कचरे का निस्तारण न होने के कारण शहर महामारी के कगार पर पहुंच सकता है. गन्दगी और कचरे को लेकर जारी तमाम विरोधाभासों के बीच नगरपालिका क्षेत्र के वार्ड नं 19 के पार्षद राजकुमार नायक ने अपने स्तर पर अपने वार्ड की सफाई का अभियान छेड़ दिया है.


खुद ही ट्रैक्टर की व्यवस्था करके तीन हेल्परों के साथ पार्षद राजकुमार नायक अपने वार्ड में कचरा उठाते नजर आए. इस दौरान पार्षद नायक और उनके सहयोगियों ने जाम हो चुकी वार्ड की नालियों की भी सफाई की. पालिकाध्यक्ष हीरालाल नायक से जब इस मुद्दे पर बात की गई तो उन्होंने कहा कि 9 अक्टूबर को बोर्ड की मीटिंग में सफाई के नये टेंडर का प्रस्ताव शामिल किया गया था, लेकिन पार्षदों ने ही इसमें अड़ंगा लगाया और सफाई का ठेके का प्रस्ताव पास नहीं होने दिया.


चेयरमैन हीरालाल नायक ने बताया कि संविदा के आधार पर सफाई कर्मचारीयों की संख्या बढ़ाने के लिए प्रयास किए जाएंगे और सम्भव हुआ तो दीपावली से पहले 25 अक्टूबर तक सीमित अवधि के लिए शहर की सफाई व्यवस्था के लिए नया ठेका दे दिया जायेगा.