Vastudosh : वास्तु और ज्योतिष आपस में जुड़े हैं. अगर जातक की कुंडली में उच्च ग्रह, उच्च स्थिति में हों लेकिन रोजमर्रा की जिदंगी में कई परेशानियां आ रही हैं. तो इसका अर्थ है कि घर में वास्तुदोष है, जो कुडंली की सकारात्मकता को भी नष्ट कर रहा है. तो चलिए बताते हैं आपको कुछ ऐसी गलतियों के बारे में जो अगर सुधारी नहीं गयी तो आपको कंगाल कर सकती हैं.

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T प्वॉइंट या फिर दक्षिण कॉर्नर वाला घर
अगर आपके घर के मेन गेट के सामने टी प्वांइट बनता है. तो इसे शुभ नहीं कहा जाता है. खासतौर पर अगर आपका घर दक्षिण या पश्चिममुखी हो. ऐसे घरों में मानसिक परेशानी रहती है. ऐसे घरों की औरतें खासतौर पर बीमार हो जाती हैं. परिवार में आर्थिक नुकसान के साथ मानहानि का भी डर रहता है. ऐसे घर में रहना शुभ नहीं माना जाता है.



पूजाघर
घर में बना पूजाघर ईशान कोण में होना चाहिए. अगर पूजा घर दक्षिण या नैऋत्य कोण में बना है तो धन संपत्ति का नुकसान होता है और पैतृक संपत्ति तक को नुकसान हो सकता है. यहां तक की आप कर्ज में भी डूब सकते हैं. इसलिए हमेशा ईशान कोण में ही पूजाघर को बनाएं.


किचन
किचन की सही दिशा आग्नेय कोण है. यानि की घर के पूर्व-दक्षिण के बीच का हिस्सा. कोशिश करें कि किचन में पीले रंग का इस्तेमाल हो. अगर आपका किचन ईशान कोण में बना है तो ये गलती आपको गंभीर रूप से बीमार कर सकती है. और फिर पानी के तरह पैसा खर्च होगा. अगर आपका किचन ईशान कोण या फिर पूर्व दिशा में हो तो स्टैंड को हरा रखें.



तिजोरी
धन को उत्तर दिशा या फिर ईशान कोण में रखें. ये धन के लिए शुभ स्थान है. अगर नैऋत्य, दक्षिण या आग्नेय कोण में तिजोरी रखी है तो उसे हटाए. इस जगह पर आपका घर का बजट बिगड़ जाएगा और हमेशा कर्ज में डूबे रहेंगे.



टॉयलेट
आपके घर में टॉयलेट कभी भी ईशान कोण या फिर पूर्व दिशा में नहीं बना होना चाहिए. वास्तुशास्त्र में इसे गंभीर वास्तुदोष माना जाता है. अगर आपके घर में भूल से ऐसी गलती हो चुकी है, तो तुरंत ईशान कोण से टॉयलेट को शिफ्ट करें.


डिस्क्लेमर- ये लेख सामान्य जानकारी है, जिसकी ज़ी मीडिया पुष्टि नहीं करता है