अशोक गहलोत के बेटे को टिकट दिया तो.... और बुजुर्ग से छीन लिया माइक, जानें पूरा मामला
राजस्थान में लोकसभा चुनाव को लेकर सरगर्मी तेज हो गई है. कांग्रेस भाजपा के मिशन 25 को रोकने के लिए प्लान तैयार कर रही है. ऐसे में कांग्रेस लोकसभा सीटवार फीडबैक ले रही हैं.
Jodhpur Political News: राजस्थान में लोकसभा चुनाव को लेकर सरगर्मी तेज हो गई है. कांग्रेस भाजपा के मिशन 25 को रोकने के लिए प्लान तैयार कर रही है. ऐसे में कांग्रेस लोकसभा सीटवार फीडबैक ले रही हैं. इसी कड़ी में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के गृह जिले जोधपुर में पार्टी कार्यकर्ताओं ने नाराजगी भी जता दी.हालात यह हो गए कि कार्यकर्ताओं से माइक तक छिनन पड़ गया.
दरअसल लोकसभा चुनाव के लिए ऑबजर्वर बनाए पूर्व मंत्री महेंद्र चौधरी लूणी, जोधपुर शहर, सरदारपुरा और सूरसागर विधानसभा के कार्यकर्ताओं के सुझाव जानने पहुंचे थे. इस दौरान एक बुजुर्ग कार्यकर्ता ने साफ तौर पर कह दिया कि अगर अशोक गहलोत चुनाव लड़ेंगे तो जीतेंगे, लेकिन एक लाइन के प्रस्ताव में वो अगर बेटे को के लिए बोलेंगे तो पहले विचार करिए. मंच पर मौजूद वैभव गहलोत की ओर इशारा करते हुए बुजुर्ग ने कहा कि वो यहां बैठे हैं इसलिए कह रहा हूं, वो क्रिकेट में ठीक हैं, लेकिन सियासत में उनका क्या रहेगा ये मैं नहीं जानता हूं. इसके बाद मंच से बुजुर्ग से माइक लेने के लिए कहा गया और उनसे माइक छिन लिया गया. हालांकि वहां मौजूद दूसरे कार्यकर्ताओं ने माइस छिनने के लिए नाराजी भी जाहिर की.
वहीं इससे पहले एक महिला कार्यकर्ता ने भी खरी खोटी सुमाते हुए पैराशूट उम्मीदवार उतारने को लेकर चेतावनी दे दी. महिला कार्यकर्ता ने कहा कि पैराशूट कार्यकर्ता लैंड करावा देते हैं जिसकी वजह से पार्टी हार जाती है. इसलिए जिनको कार्यकर्ताओं चाहे उन्ंहे ही टिकट दिया जाए. तभी सीट निकलेगी नहीं तो हार का सामना करना पड़ेगा. महिला ने आगे कहा कि महिलाओं को दरकिनार कर दिया जाता हैं. इनके काम नहीं होते हैं.
गौरतलब है कि 2019 के लोकसभा चुनाव में अशोक गहलोत के पुत्र वैभव गहलोत को उम्मीदवार बनाया गया था, लेकिन उन्हें चुनाव मुंह की खानी पड़ी थी, यहां तक की सरदारपुरा में वैभव पीछे रह गए थे.