Anupgarh: श्रीगंगानगर के अनूपगढ़ क्षेत्र के गांव पतरोड़ा में बाल कल्याण समिति चाइल्डलाइन एवं प्रशासन ने एक बाल विवाह रुकवाया. इस मामले में बारात श्याम नगर श्रीगंगानगर से आने वाली थी, लेकिन बारात से पहले ही प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर बाल विवाह रुकवा दिया. 


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उपखंड अधिकारी प्रियंका तलानिया ने जानकारी देते हुए बताया कि उन्हें सूत्रों से जानकारी मिली थी कि गांव पतरोड़ा में एक नाबालिग बालिका का विवाह करवाया जा रहा है. 


सूचना पर उपखंड अधिकारी प्रियंका तलानिया ने बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष योगेंद्र कौशिक, सदस्य आनंद मारवाल,हुकमाराम नायक,वंदना गौड़, विपिन सांखला, तहसीलदार राजेंद्र सिंह और पुलिस थाना अधिकारी फूलचंद शर्मा को बाल विवाह को रुकवाने के लिए निर्देशित किया गया. सूचना मिलने पर सभी अधिकारी मौके पर पहुंचे और देखा कि नाबालिक लड़की का विवाह होने वाला है. 


थाना अधिकारी फूलचंद शर्मा ने मौके पर नाबालिक लड़की के परिजनों को नाबालिक विवाह अधिनियम की जानकारी देकर बालिका के बालिग होने तक विवाह नहीं करने के लिए पाबंद किया गया. प्रशासन के द्वारा मौके पर मौजूद टेंट, हलवाई, वेटर, डीजे आदि सेवाएं देने वालों को भी बाल विवाह में सेवाएं नहीं देने के लिए पाबंद किया गया.  


जिला समन्वयक ने बताया कि प्रशासन से मौके पर पहुंचे तो विवाह की तैयारियां चल रही थी और बारात का इंतजार हो रहा था. टीम द्वारा बालिका के विवाह योग्य आयु 18 वर्ष होने के प्रमाण मांगे गए तो बालिका के पिता ने बालिका की कक्षा 10 की अंकतालिका को पेश किया, जिसे बालिका के जन्म दिनांक 18 वर्ष पहले नहीं थी. बालिका की आने वाली बरात को तहसीलदार ने बैरिंग बिना दुल्हन के ही वापस श्रीगंगानगर लौटा दिया गया. 


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बाल विवाह की रोकथाम के लिए परिजन जगह और समय बदलकर बालिका का किसी अन्य स्थान पर विवाह नहीं कर दें इसलिए तहसीलदार राजेंद्र सिंह और राजस्व पटवारी ने मौके पर ही निगरानी के लिए आंगनबाड़ी कार्यकर्ता रानी और पुलिस थाना के पुलिसकर्मी की ड्यूटी लगा दी गई है. 


Reporter- Kuldeep Goyal 

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