धरना दे रहे सांसदों को उपसभापति हरिवंश ने पिलाई चाय, खुद एक दिन के उपवास पर
राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश नारायण सिंह आज सुबह उन सांसदों के लिए चाय लेकर पहुंचे जो संसद भवन में गांधी जी की प्रतिमा के पास निलंबन के खिलाफ धरने पर बैठे हैं.
नई दिल्ली: राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश नारायण सिंह आज सुबह उन सांसदों के लिए चाय लेकर पहुंचे जो संसद भवन में गांधी जी की प्रतिमा के पास निलंबन के खिलाफ धरने पर बैठे हैं. इन सांसदों को सभापति वेंकैया नायडू ने सदन में हंगामा करने और उपसभापति से बदसलूकी के लिए सस्पेंड किया था. इसके बाद से ही सभी निलंबित सांसद धरने पर बैठे हैं. ये धरना रात को भी चलता रहा और सुबह उपसभापति हरिवंश खुद उनके लिए चाय लेकर पहुंच गए.
उपसभापति के इस कदम की हर कोई तारीफ कर रहा है. पीएम मोदी ने कहा, 'हर किसी ने देखा कि दो दिन पहले लोकतंत्र के मंदिर में उनको किस प्रकार अपमानित किया गया, उन पर हमला किया गया और फिर वही लोग उनके खिलाफ धरने पर भी बैठ गए लेकिन आपको आनंद होगा कि आज हरिवंश जी ने उन्हीं लोगों को सवेरे-सवेरे अपने घर से चाय ले जाकर पिलाई.'
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उन्होंने आगे कहा, 'यह हरिवंश जी की उदारता और महानता को दर्शाता है। लोकतंत्र के लिए इससे खूबसूरत संदेश और क्या हो सकता है। मैं उन्हें इसके लिए बहुत-बहुत बधाई देता हूं. बिहार की धरती ने सदियों पहले पूरे विश्व को लोकतंत्र की शिक्षा दी थी. आज उसी बिहार की धरती से प्रजातंत्र के प्रतिनिधि बने श्री हरिवंश जी ने जो किया, वह प्रत्येक लोकतंत्र प्रेमी को प्रेरित और आनंदित करने वाला है.'
राज्य सभा के सभापति वेंकैया नायडू ने कहा राज्य सभा में परसों की घटना ने संसदीय मर्यादाओं को हानि पहुंचाई है लेकिन मुझे बताया गया कि इतना सब होने के बाद भी आज उपसभापति श्री हरिवंश जी संसद परिसर में धरने पर बैठे सांसदों के लिए सुबह की चाय स्वयं ले कर गए. हरिवंश जी की यह पहल हमारे उत्कृष्ट लोकतान्त्रिक संस्कारों को दिखाती है. उनकी पहल लोकतंत्र के लिए शुभ संकेत है.
धरने पर बैठे सांसदों ने क्या कहा
टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने कहा, 'उस दिन रूल्स फॉलो नहीं किए गए. बीजेपी इसे बिहार चुनाव के लिए मुद्दा बना रही है.' इधर, आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने कहा, 'हम यहां रिश्ते बनाने के लिए नहीं बैठे हैं. उस दिन उप सभापति जी ने संविधान को ताक पर रखकर बिल पास कराया. आज यहां आने का क्या मतलब है. हम यहाँ किसानो के लिए बैठे हैं.'