फेसबुक पर की थी सरकार की आलोचना, 6 महीने बाद कोर्ट ने दी जमानत
सरकार की नीति व उसकी आलोचना करने का अधिकार लोकतंत्र में सभी को है, लेकिन यह सब सभ्य तरीके से होना चाहिए. जस्टिस सुधीर मित्तल ने पंजाब के होशियारपुर निवासी जसवीर सिंह की जमानत याचिका पर फैसला सुनाते हुए यह टिप्पणी की.
नई दिल्ली: फेसबुक (Facebook) पर सरकार की आलोचना करने के आरोप में लगभग छह माह से जेल में बंद एक व्यक्ति को जमानत देते हुए पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट (High Court) ने साफ कर दिया है कि सरकार की नीति व उसकी आलोचना करने का अधिकार लोकतंत्र में सभी को है, लेकिन यह सब सभ्य तरीके से होना चाहिए. जस्टिस सुधीर मित्तल ने पंजाब के होशियारपुर निवासी जसवीर सिंह की जमानत याचिका पर फैसला सुनाते हुए यह टिप्पणी की.
सरकार पर टिप्पणी करने का था आरोपी
आपको बता दें कि कोरोना के चलते पंजाब में लॉकडाउन में काम काज बंद होने से परेशान जसवीर सिंह ने फेसबुक पर लाइव होकर सरकार के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी व आलोचना की थी. इसके बाद पंजाब पुलिस ने 14 अप्रैल को जसबीर के खिलाफ टांडा पुलिस स्टेशन, होशियारपुर में एफआईआर दर्ज कर दी. जस्टिस मित्तल ने याचिकाकर्ता के फेसबुक लाइव सत्र के ट्रांसक्रिप्ट देखने के बाद कहा, लोकतंत्र में प्रत्येक नागरिक को स्वतंत्र रूप से अपनी राय रखने और सरकार के कामकाज की आलोचना करने का अधिकार है.
6 महीने बाद शख्स को मिली जमानत
हालांकि, एक ही सभ्य तरीके से किया जाना चाहिए और अंसंसदीय भाषा को नहीं अपनाया जाना चाहिए. सरकार को भी राजद्रोह और धार्मिक असहमति से संबंधित कानूनों को लागू करते समय अधिक सहिष्णु और चौकस रहने की जरूरत है. सुप्रीम कोर्ट इस तरह के एक मामले में पहले ही इस तरह के निर्देश दे चुका है. इसी के साथ कोर्ट ने जसबीर को ट्रायल कोर्ट/ड्यूटी मजिस्ट्रेट की संतुष्टि पर नियमित जमानत पर रिहा करने का आदेश जारी किया.
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