महाकुंभ में अजब-गजब बाबा, किसी के सिर पर 11 हजार रुद्राक्ष, कोई 20 किलो की चाबी के साथ, किसी के पास 35 साल पुरानी एंबेसडर कार, देखें तस्वीरें
13 जनवरी से आरंभ हो रहे प्रयागराज महाकुंभ मेले में देश दुनिया से आए अनोखे बाबा भी पहुंच रहे हैं. हम इन्हें अनोखा इसलिए कह रहे हैं क्योंकि कोई सिर पर मोरपंख की कलंगी लगाए हैं तो किसी ने 9 साल से अपना हाथ ऊपर ही उठा रखा है.
कंप्यूटर बाबा
कंप्यूटर बाबा बाबा अपने साथ हमेशा लैपटोप रखते है जिस पर वो कार्टून देखते हैं. इनका असली नाम दास त्यागी है. इन्हें ये नाम 1998 में नरसिंहपुर के एक संत ने दिया था. इनकी गैजेट और तकनीक में विशेष रुचि है. इसलिए इन्हें कंप्यूटर बाबा कहा जाता है.
एनवायरमेंट बाबा
आवाहन अखाड़ा के आचार्य महामंडलेश्वर अरुणा गिरी ने अगस्त 2016 में वैष्णो देवी से कन्या कुमारी तक 27 लाख पौधे बांटे थे. तभी से उन्हें एनवायरमेंट बाबा कहा जाता है. इस बार महाकुंभ में इन्होंने 51 हजार पौधे लगाने का लक्ष्य रखा है.
पांच साल से हाथ उठाकर चलने वाला बाबा
दिगंबर हरिवंश गिरी 5 साल से हाथ ऊपर उठाकर चल रहे हैं इन्होंने 12 बरस तक इसी स्थिति में रहने का संकल्प लिया है. ये अपना लक्ष्य सनातन धर्म का प्रसार और राष्ट्र का विकास बताते हैं.
उंगलियो से लंबे नाखून वाले बाबा
महाकाल गिरी बाबा 9 साल से अपना एक हाथ ऊपर उठाए हुए हैं, इस हाथ में उनके नाखून उनके उंगलियों से भी बड़े हो गए हैं. महाकाल गिरी बाबा राजस्थान के जोधपुर के रहने वाले हैं.
डिजिटल मौनी बाबा
डिजिटल मौनी बाबा राजस्थान के उदयपुर से हैं. ये 12 साल से मौन व्रत धारण किये हुए हैं और अपने शिष्यों से सारी बातें डिजिटल माध्यम से करते हैं. इसके लिए ये कोई कॉपी कलम नहीं बल्कि डिजिटल बोर्ड रखते हैं.
रुद्राक्ष बाबा
महाकुंभ 2025 के साधुओं में से एक हैं रुद्राक्ष बाबा जो 108 रुद्राक्षों की माला पहनते हैं, जिसमें कुल 11,000 रुद्राक्ष होते हैं. इन 11,000 रुद्राक्षों का वजन 30 किलो से अधिक है. बाबा पर रुद्राक्षों की संख्या बढ़ने के साथ ही अब वे रुद्राक्ष बाबा के नाम से प्रसिद्ध हो गए हैं.
एंबेसडर बाबा
महंत राज गिरी नागा बाबा 35 साल से एक एंबेसडर कार की सवारी कर रहे हैं ये जहां भी जाते हैं अपनी एंबेसडर कार से ही पहुंचते हैं. इनके खाने-पीने, सोने और रहने की व्यवस्था भी इसी कार में है इसलिए इन्हें एंबेसडर बाबा कहा जाता है.
सिलेंडर वाले बाबा
राजस्थान के भरतपुर के हनुमान मंदिर के महंत बाबा जानकीदास 66 साल के हैं इनकी 21 फीट लंबी दाड़ी है. ये अपनी दाड़ी दो सिलेंडर उठा लेते हैं. इन्होंने दाड़ी से वजन उठाने में कई प्रतियोगिताएं जीती हैं. एक बार इन्हें इनाम में मोटरसाइकिल भी मिली थी.
सिर पर मोर मुकुट धारण किए जंगम संत महाकुंभ
सिर पर मोर मुकुट की पगड़ी धारण करने वाली संतों की यह टोली हरियाणा के कुरुक्षेत्र से है. इस टोली में बलजीत जंगम, रणधीर जंगम, हवा सिंह जंगम, सत्य प्रकाश जंगम, अजय जंगम और करमवीर जंगम हैं. इनके सिर के ऊपर मोर पंख भगवान विष्णु की कलंगी का प्रतीक है.
आईएएस की कोचिंग देने वाले मौनी बाबा
दिनेश स्वरूप ब्रह्मचारी बाबा IAS की तैयारी करने वाले छात्रों को फ्री कोचिंग देते हैं. ये स्पीड से बाइक चलाने के शौकीन है और मौन रहते हैं. ये छात्रों को अपने हाथ से लिखे नोट्स से कोचिंग देते हैं. ये प्रतापगढ़ के चिलविला स्थित शिव शक्ति बजरंग धाम से पधारे हैं.
बवंडर बाबा
बवंडर बाबा मध्य प्रदेश से हैं और दिव्यांग होने की वजह से तीन पहिये वाली मोटरसाइकिल से चलते हैं. ये हिंदू देवी- देवताओं की मूर्ति और तस्वीरों के अनादर को लेकर लोगों को जागरुक करने निकले हैं.
चाबी वाले बाबा
ये 20 किलो की चाबी लेकर यात्रा पर निकले हैं, जिसे ये राम नाम की चाबी बताते हैं. इनका असली नाम हरिशचंद्र है और ये उत्तर प्रदेश के रायबरेली के रहने वाले हैं. इन्होंने 16 साल की उम्र में ही घर-बार त्याग दिया था.
Disclaimer
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