Hathras stampede: हाथरस में सत्संग के दौरान भगदड़ मचने से हुए हादसे में अब तक 121 लोगों की मौत हो चुकी है. हादसे का आज चौथा दिन है, घटना के मुख्य आरोपी की तलाश में लगातार पुलिस दबिश दे रही है लेकिन अभी तक उसकी गिरफ्तारी नहीं हो पाई है. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार यानी आज हाथरस और अलीगढ़ पहुंचकर पीड़ित परिवारों से मुलाकात की,जिसको लेकर सियासत तेज रही. आइए जानते हैं हादसे के चौथे दिन क्या क्या हुआ. 


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राहुल गांधी पीड़ित परिवारों से मिले
राहुल गांधी ने हाथरस में भगदड़ की घटना को ‘दुखद’ करार दिया हाथरस (उप्र), लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने हाथरस में भगदड़ की घटना के संबंध में शुक्रवार को कहा कि प्रशासन की ओर से चूक हुई थी. कांग्रेस नेता ने साथ ही कहा कि वह इसे ‘‘राजनीतिक’’ रंग नहीं देना चाहते.


मैनपुरी में मिली लोकेशन
फरार साकार हरि उर्फ भोले बाबा की लोकेशन को लेकर भी आज खबरें आईं. बाबा के मैनपुरी के बिछवां आश्रम में छिपे होने की आशंका जताई गई. कहा गया कि पुलिस को कई ऐसे सबूत मिले जो बाबा के आश्रम में छिपे होने का इशारा कर रहे हैं. 


सुरक्षाकर्मियों के लिए गए बयान
हाथरस में सुरक्षा में लगे कर्मचारियों के बयान लिए गए. बिजली विभाग, एसडीएम सिकन्दरारऊ, फ़ायर कर्मचारी, ब्लॉक के कर्मचारी इन सभी के एसआईटी ने बयान दर्ज किए. 


शिकोहाबाद तक पहुंची जांच की आंच
हाथरस जांच की आंच शिकोहाबाद तक पहुंच चुकी है. SIT ने बाबा के एक करीबी व्यक्ति को एटा चौराहे से उठाया है, शिकोहाबाद में सत्संग की चल रही थी तैयारी, शिकोहाबाद में बाबा का सितंबर में होना था सत्संग, सेवादार उपेंद्र यादव को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया.


जांच के लिए आयोग को दफ्तर अलॉट
हाथरस भगदड़ कांड की जांच कर रहे आयोग को विकास भवन में दफ्तर आवंटित किया गया। एक दो दिनों में आयोग हाथरस जाएगा. 


एसआईटी सौंप सकती हैं जांच रिपोर्ट
हाथरस हादसे की एसआईटी आज शासन को जांच रिपोर्ट सौंप सकती है. एडीजी आगरा व अलीगढ़ कमिश्नर के नेतृत्व में चल रही जांच में डीएम-एसएसपी सहित 130 लोगों के बयान हुए हैं. दो जुलाई की दोपहर हुए इस हादसे के बाद ही मुख्यमंत्री स्तर से एसआईटी जांच का आदेश जारी किया गया था. एडीजी आगरा जोन अनुपम कुलश्रेष्ठ व मंडलायुक्त चैत्रा वी को एसआईटी का जिम्मा देते हुए 24 घंटे में रिपोर्ट तलब की. जिसमें सबसे बड़ा सवाल हादसे के मूल कारण और लापरवाही व अनदेखियों को उजागर करना है. हालांकि यह रिपोर्ट बुधवार को ही देनी थी, मगर राहत व बचाव कार्य जारी रहने और बुधवार को मुख्यमंत्री के आने के कारण जांच पूरी नहीं हो सकी. अधिकारियों ने तीन दिन का समय मांग लिया। इसमें घटनास्थल पर तैनात एक एक पुलिस व अन्य सभी विभागों के कर्मचारी-अधिकारी, प्रारंभिक सूचना वाले कर्मी, एंबुलेंस कर्मी, डॉक्टर, पोस्टमार्टम करने वाले डॉक्टर, किसान, चश्मदीद, घायल, तहसील व जिला स्तर के अधिकारी, डीएम-एसपी आदि तमाम लोग शामिल हैं. 


वकील एपी सिंह का दावा
हाथरस कांड का वांटेड आरोपी जिस पर यूपी पुलिस ने 1 लाख का इनाम रखा है वो अस्पताल में एडमिट है. एपी सिंह का दावा है की 1 लाख का इनामी आरोपी देव प्रकाश मधुकर हार्ट का मरीज है. उसका अस्पताल में इलाज चल रहा है, जैसे ही डॉक्टर देव प्रकाश को फिट घोषित करेंगे, खुद देव प्रकाश पुलिस के सामने हाजिर होगा.


संभल में हटाया गया आश्रम से बोर्ड 
संभल में भोले बाबा उर्फ सूरजपाल के आलीशान आश्रम ''प्रवास कुटिया ,पर लगा बोर्ड आश्रम कमेटी ने हटाया. हाथरस के बाद जी मीडिया ने आश्रम से ग्राउंड रिपोर्टिंग की थी, उस समय आश्रम के बाहर बोर्ड लगा था. बोर्ड हटाए जाने के मामले में कमेटी के लोगों ने कुछ भी कहने से इनकार कर दिया. चंदोसी तहसील क्षेत्र के सराय सिकंदर गांव के समीप है भोले बाबा का विश्व साकार हरि आश्रम. 


सियासी वार-पलटवार
महराजगंज के सांसद एवं केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने हाथरस की घटना पर राहुल गांधी के दौरे को लेकर कहा कि हाथरस की घटना दुर्भाग्यपूर्ण घटना है. यह दुख की घड़ी है, इसमें राजनीति की रोटी नहीं सेंकी जानी चाहिए. सरकार और प्रशासन उचित कार्रवाई कर रही है जो भी दोषी होंगे उन्हें दंड दिलाने का काम किया जाएगा. योगी सरकार में मंत्री अनिल राजभर ने हाथरस में भगदड़ से बड़ी संख्या में हुई मौतों के सवाल पर कहा घटना के पीछे पूरी तरह से आयोजक जिम्मेदार हैं. मामले की जांच के आदेश प्रदेश के मुख्यमंत्री ने दिये हैं. जिसकी रिपोर्ट भी आ गई है.


झांसी मंत्री बेबी रानी मौर्य का बयान
झांसी दौरे पर पहुंची प्रदेश सरकार की मंत्री और झांसी की प्रभारी मंत्री बेबी रानी मौर्य ने हाथरस कांड पर एक विवादित बयान दिया है. बेबी रानी मौर्य ने सर्किट हाउस में मीडिया से बात चीत के दौरान कहा कि वह नहीं मानती हैं कि कोई बाबा अपने भक्तों से यह कहेगा कि उसके पैर की रज माथे से लगाई जाए. यह तो भक्तों की अपनी आस्था है जिस वजह से वह ऐसा कदम उठाते हैं. मुझे नहीं लगता कि बाबा ने भक्तों से ऐसा कहा होगा. हादसा तो बाबा के जाने के बाद हुआ था.


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