Year Ender 2023: अतीक के आतंक का अंत, 2023 में यूपी के देवरिया कांड समेत ये आपराधिक मामले गूंजते रहे
Year Ender 2023: साल 2023 अब समाप्त होने वाला है लेकिन अगर यूपी की बात करें तो इस साल यहां ऐसी कई घटनाएं भी हुई हैं जिन्होंने पूरे प्रदेश को झखझोर के रख दिया. आइए 2023 के कुछ बड़े आपराधिक मामलों पर नजर डालते हैं.
Year Ender 2023: साल 2023 अपनी अंत की ओर है, उत्तर प्रदेश की बात करें तो इस साल प्रदेश ने अपने नाम कई उपलब्धियां हासिल कीं, प्रदेश को सरकार की ओर से कई सौगातें भी मिली, लेकिन सिक्के के दो पहलू होते हैं, जहां प्रदेश एक तरफ विकास के कई कदम आगे की ओर रखें तो वहीं इस साल कई ऐसे भी आपराधिक मामले सुर्खियों में रहे जिन्होंने दिल दहला दिया. कुछ मामलों ने तो पूरे प्रदेश को झकझोरकर रख दिया. आइए ऐसे 5 मामलों पर एक नजर डालते हैं.
माफिया डॉन अतीक अहमद और उसके गुनाह (Atiq Ahmad Case)
इस साल 17 साल बाद ही सही लेकिन अंततः माफिया डॉन अतीक अहमद के गुनाहों का लेखाजोखा किया गया. इस साल प्रयागराज के एमपी-एमएलए कोर्ट के द्वारा उमेश पाल अपहरण केस में अतीक और उसके भाई अशरफ के साथ ही सभी 10 आरोपियों को दोषी माना गया था. लगभग अतीक पर 100 मुकदमे थे लेकिन पहली बार किसी मामले में उसे गुनहगार पाते हुए दोषी करार दिया गया था. उमेश पाल किडनैपिंग केस में माफिया को उम्रकैद की सजा भी दी गई. हालांकि, इसी साल 15 अप्रैल की रात को पुलिस कस्टडी में रहते हुए अतीक अहमद व अशरफ अहमद की गोली मारकर हत्या कर दी गई. प्रयागराज के कॉल्विन हॉस्पिटल में तब दोनों रूटीन चेकअप के लिए ले जाए जा रहे थे. इस मामले में मौके से तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया था. अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ के अंत के साथ ही क्राइम की दुनिया के एक नाम का अंत हो गया.
देवरिया हत्याकांड (Deoria Murder News)
उत्तर प्रदेश के देवरिया जिले में 2 अक्टूबर 2023 जैसे मौत का तांडव ही शुरू हो गया था. यहां के रुद्रपुर थाना क्षेत्र में फतेहपुर गांव के लेहरा टोला में 2 अक्टूबर को जमीन विवाद में 6 लोग की बड़ी ही बेरहमी से हत्या कर दी गई. हालांकि पुलिस के द्वारा इस हत्यकांड का मुख्य आरोपी नवनाथ मिश्रा गिरफ्तार कर लिया गया जोकि फतेहपुर गांव का ही है. मामले में पूर्व प्रधान प्रेमचंद यादव की एक पक्ष ने हत्या की थी और फिर सत्यप्रकाश दुबे के परिवार समेत पांच लोग को दूसरे पक्ष ने धारेधार हथियार और गोलियों से भूनकर मार डाला था. इस हत्याकांड को 27 नामजद और 50 अज्ञात के खिलाफ पुलिस ने केस दर्ज किया था और घटना में कारित 20 आरोपी पहले ही गिरफ्तार किए गए.
खूंखार गैंगस्टर अनिल दुजाना (Who is Anil Dujana)
इस साल के मई महीने में पश्चिमी उत्तर प्रदेश में खूंखार गैंगस्टर के तौर पर कुख्यात अनिल दुजाना का इस साल यूपी एसटीएफ के द्वारा अंत कर दिया गया. मेरठ के जानी इलाके में एसटीएफ ने महज 36 साल के अनिल का एनकाउंटर किया था. अनिल दुजाना पर 62 केस थे जिनमें 18 मर्डर समेत रंगदारी, लूटपाट, जमीन पर कब्जा, कब्जा छुड़वाना के साथ ही आर्म्स एक्ट जैसे गंभीर केस शामिल थे. उसके सिर पर 75 हजार रुपये के इनाम भी घोषित था. अनिल के ऊपर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून यानी रासुका व गैंगस्टर एक्ट भी लगाया गया था.
गैंगस्टर संजीव माहेश्वरी जीवा (Gangster Sanjeev Jeeva Last Rites)
इस साल जून महीने में उत्तर प्रदेश (UP) के शामली (Shamli) में एक गैंगस्टर संजीव माहेश्वरी जीवा का अंत कर दिया गया. माफिया मुख्तार अंसारी के कथित सहयोगी और मुजफ्फरनगर जिले का निवासी संजीव की लखनऊ अदालत परिसर के अंदर गोली मारकर हत्या की गई थी. इस दौरान दो लोग घायल भी हुए थे. वहीं कथित हमलावर को मौके से धर लिया गया था. लखनऊ जेल में बंद संजीव जीवा को कोर्ट में एक मामले में सुनवाई के लिए लाया गया था जहां पर अदालत लाया गया था, जहां गोली मारकर उसकी हत्या की गई. 48 साल का संजीव जीवा बीजेपी विधायक कृष्णानंद राय व यूपी में बीजेपी के मंत्री रहे ब्रह्मदत्त द्विवेदी के मर्डर का आरोपी था. इसके अलावा उस पर हत्या, धोखाधड़ी और आपराधिक साजिश के दो दर्जन केस दर्ज थे. 10 फरवरी, 1997 को ब्रह्मदत्त द्विवेदी व उनके गनर की तब हत्या की गई जब फर्रुखाबाद जिले में एक तिलक समारोह से वो लौट रहे थे. लोअर कोर्ट ने 17 जुलाई, 2003 को जीवा व बाकि के आरोपियों को इसी द्विवेदी व उनके गनर की हत्याकांज में दोषी पाते हुए उम्र कैद की सजा सुनाी थी.
डॉक्टर का लटकता हुआ शव (Rae Bareli)
इस साल के दिसंबर महीने में ही उत्तर प्रदेश के रायबरेली जनपद स्थित मॉडर्न रेल कोच फैक्ट्री के आवासीय परिसर में एक दर्दनाक मामला सामने आया. मॉडर्न रेल कोच फैक्ट्री में तैनात डॉक्टर ने अपनी पत्नी, बेटा और बेटी समेत आत्महत्या कर ली. उनके आवास में डॉक्टर का लटकता हुआ शव मिला था. मामला लालगंज कोतवाली के मॉडर्न रेल कोच फैक्ट्री के आवासीय परिसर का है. रेलकोच आवासीय परिसर के भीतर एक साथ 4 मौतों से हड़कंप मच गया था. लालगंज कोतवाली के मॉडर्न रेलकोच फैक्ट्री के आवासीय परिसर का है. जहां के रहने वाले नेत्र चिकित्सक अरुण कुमार ने अपने परिवार को पहले नशीले इंजेक्शन दिए बाद में सभी की हतौडे से मार कर हत्या कर दी थी. इसके बाद खुद को धारदार औजार से काटने की कोशिश करते हुए फांसी लगा ली. रेलकोच आवासीय परिसर के भीतर एक साथ 4 मौतों से हड़कंप मच गया. आरपीएफ ने मामले की सूचना पुलिस को दी. सूचना पाकर एसपी आलोक प्रियदर्शी, एडिशनल एसपी, सीओ और फोरेंसिक की टीम मौके पर पहुँची. टीम के पहुंचने पर घर का दरवाजा बलपूर्वक तोड़कर टीम अंदर पहुंची थी. इसका बाद पुलिस मामले की जांच में जुट गई थी.