Online Attendance Rule: उत्तर प्रदेश के परिषदीय विद्यालयों में अध्यापकों की ऑनलाइन हाजिरी के नियम का विरोध जारी है. उधर यूपी सरकार और बेसिक शिक्षा विभाग भी फैसला वापस लेने के बजाय और सख्ती पर उतर आया है. जो अध्यापक ऑनलाइन हाजिरी नहीं लगा रहे हैं उनका वेतन काटने के आदेश दिये गये हैं.


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लखनऊ से सूत्रों के हवाले से बड़ी खबर है. डिजिटल हाजिरी न लगाने वाले शिक्षकों पर गाज गिर सकती है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शिक्षा विभाग से जुड़े पदाधिकारियों के साथ की अहम बैठक में ये निर्देश दिए हैं. डिजिटल हाजिरी न लगाने वाले शिक्षकों पर सख्त कार्रवाई होगी. शिक्षकों को हर हाल में डिजिटल हाजिरी के नियम का पालन करना होगा. डिजिटल हाजिरी में आनाकानी करने वाले शिक्षक सरकार की रडार पर हैं. 


जानकारी के मुताबिक पूरे प्रदेश में 6 लाख से ज्यादा बेसिक शिक्षक हैं और इसमें से ज्यादातर ऑनलाइन अटेंडेंस के विरोध में है. अकेले बाराबंकी में इस नियम का विरोध करने वाले 11 हजार शिक्षकों का वेतन रोक दिया गया है.  बता दें कि पहले दिन प्रदेश भर में केवल 6 शिक्षकों ने ही डिजिटल अटेंडेंस लगाई.  नियम के मुताबिक स्कूलों में टीचर्स और दूसरे कर्मचारियों को अटेंडेंस सुबह 7.45 बजे से 8 बजे तक लगानी है. हालांकि, अब इसका समय बढ़ाकर 8.30 कर दिया गया है. 


Barabanki:परिषदीय विद्यालयों में डिजिटल अटेंडेंस को लेकर शिक्षकों के विरोध के बीच बाराबंकी जिले में सख्ती शुरू हो गई है. बाराबंकी में तीन दिन उपस्थिति दर्ज नहीं कराने वाले लगभग 11 हजार शिक्षकों का वेतन रोकने का निर्देश बीएसए ने जारी कर दिया है. वहीं ऑनलाइन हाजिरी के विरोध में परिषदीय विद्यालयों के शिक्षक-शिक्षिकाओं का शांतिपूर्ण विरोध-प्रदर्शन जारी है. महिला शिक्षकों ने व्हाट्सएप पर काली डीपी लगाकर विरोध जताया. वहीं स्कूलों, ब्लॉक संसाधन केंद्रों पर शिक्षक संघ और शिक्षक लगातार काली पट्टी बांधकर विरोध जता रहे हैं. विरोध के चलते एक भी शिक्षक ने ऑनलाइन उपस्थिति भी दर्ज नहीं कराई.


 
Ghaziabad: ऑनलाइन हाजिरी के विरोध में शिक्षकों नाराजगी अब प्रदर्शन में बदल चुकी है. गाजियाबाद में जिला मुख्यालय पर शिक्षकों ने ऑनलाइन हाजिरी के विरोध में धरना प्रदर्शन दिया और अधिकारियों को ज्ञापन सौंपा. 


Kaushambi: कौशांबी जिले में शिक्षकों का आरोप है कि डिजिटल हाज़री के लिए दिए गए टैबलेट काम नहीं कर रहे हैं. टैबलेट हैंग हो जाता है. जो टैबलेट दिए गए हैं 3GB रैम है जिसके चलते काफी दिक्कत होती है. ऐसे में ऑनलाइन हाज़री और दूसरे काम नहीं हो पा रहे हैं.  शिक्षकों की मांग है कि टैबलेट 8GB रैम का दिया जाए, जिससे हैंग होने की समस्या दूर हो सके. शैक्षिक महासंघ के संयोजक ओम दत्त त्रिपाठी की अगुवाई में दो दिन पहले डायट मैदान में प्रदर्शन किया गया था, साथ ही ज्ञापन भी दिया गया था. जिसमें शिक्षकों की तमाम मांगे थी शिक्षकों का कहना है कि अगर हमारी मांग पूरी नहीं होती है, तो हम ऑनलाइन हाजिरी का विरोध करते रहेंगे.


Gonda: गोंडा जिले में भी प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालय में पढ़ने वाले अध्यापक डिजिटल हाजिरी का विरोध कर रहे हैं और सरकार से अपने कई मांगों को लेकर धरना भी दे रहे हैं. शिक्षकों का आरोप है कि सरकार द्वारा एक संयोजित तरीके से नियम लाकर शिक्षकों को परेशान करने के साथ बदनाम करने का काम किया जा रहा है. हम लोगों को काफी दूर-दूर तैनात किया गया है. वहां बरसात के मौसम में जाने में दिक्कतें होती हैं कई विद्यालय में जल भराव की स्थिति है. वहां हम लोग ऑनलाइन अटेंडेंस कैसे लगाए जब तक यह कानून वापस नहीं लिया जाता है जब तक हम लोग इसी प्रकार का धरना देते रहेंगे. 


Maharajganj: महराजगंज में जब ज़ी मीडिया की टीम ने शिक्षकों से बात की तो शिक्षकों का साफ तौर पर कहना था कि सरकार के इस तुगलकी फरमान को वह बिल्कुल नहीं मानेंगे.  महराजगंज जनपद के राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के जिला अध्यक्ष ऋषिकेश गुप्ता ने जी मीडिया को बताया कि डिजिटल हाजिरी का विरोध नहीं किया जा रहा है हम डिजिटल हाजिरी में आने वाली जो समस्याएं हैं उनका समाधान चाहते हैं इसलिए डिजिटल हाजिरी का बहिष्कार कर रहे हैं. 


Mainpuri: मैनपुरी में भी जब ज़ी मीडिया की टीम ने शिक्षकों से बात की तो उन्होंने बताया  कि सरकार पहले हमें सारी सुख-सुविधा उपलब्ध कराये, मार्गो को सही कराये, आंधी पानी में अगर हम लेट हो जाते हैं तो हाफ डे उपलब्ध कराए. इंटरनेट की समस्या आती है उसका सुधार कराये. उनका कहना था कि इसके पहले अगर सरकार डिजिटल हाजिरी न देने पर सेलरी काटती है तो हम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे. 


Jalaun: जालौन में टीचर्स का कहना है कि सरकार का ये आदेश पूरी तरह से अव्यवहारिक है. इसी के साथ शिक्षकों ने मांग ही है कि सरकार पुरानी पेंशन समेत शिक्षकों की सभी लंबित मांगे मान ले तो शिक्षक इस नई व्यवस्था को स्वीकार कर लेंगे.


Firozabad: फिरोजाबाद में भी डिजिटल अटेंडेंस को लेकर टीचर विरोध में है यहां गुरुवार को भी टीचरों ने पहले की तरह अटेंडेंस रजिस्टर पर ही बच्चो की हाजिरी ली और अपनी भी अटेंडेंस के लिए उन्होंने रजिस्टर पर ही साइन किये. 


शिक्षकों की प्रमुख मांगें 
शिक्षकों की प्रमुख मांगों में 15 दिन की हाफ सीएल, 31 दिन का ईएल, कैशलेश इलाज, राज्य कर्मचारी का दर्जा, फल-दूध ख़रीदने से मुक्ति, नेटवर्क की समस्या दूर हो, पुरानी पेंशन और स्कूलों के रास्ते सही करना है. 


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