Prayagraj Mahakumbh 2025: संगमनगरी में होने जा रहे महाकुंभ में भले अभी 4 महीने बाकी हों लेकिन अभी से सभी विभागों ने तैयारियां शुरू कर दी हैं. महाकुंभ को लेकर पुलिस महकमे ने भी कमर कस ली है. श्रद्धालुओं की सुविधा और भीड़ को देखते हुए मेला क्षेत्र की सुरक्षा में 30 हजार से ज्यादा पुलिसकर्मी तैनात रहेंगे. साथ ही 50 से अधिक पुलिस थानों और 65 से अधिक पुलिस चौकियों का निर्माण किया जाएगा. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

ड्रोन-एआई की ली जाएगी मदद
नवनियुक्त एसएसपी महाकुंभ राजेश द्विवेदी ने जानकारी देते हुए कहा,  देश के कोने कोने से मोक्ष की प्राप्ति के लिए महाकुम्भ के दौरान संगम स्नान के लिए आने वाले श्रद्धालुओं को असुविधा न हो, इसको लेकर इंतजाम किए जा रहे हैं. महाकुंभ मेले में तैनात पुलिसकर्मी बगैर शस्त्र के ड्यूटी करेंगे. बेहतर आचरण व्यवहार के लिए पुलिसकर्मियों को प्रशिक्षण भी दिया जाएगा. सुरक्षा को लेकर सीसीटीवी कैमरे, ड्रोन के साथ ही एआई की भी मदद ली जाएगी.


'कुंभ मेला मित्र' भी होंगे तैनात
महाकुंभ में आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों की बेहतरी और सुरक्षा को देखते हुए प्रदेश सरकार ने 1,000 से अधिक 'कुंभ मेला मित्रों' की नियुक्ति करने का फैसला लिया है. इसके ल‍िए चयन की प्रक्रिया शुरू हो गई है. कुंभ मेला मित्र श्रद्धालुओं को कुंभ क्षेत्र में रास्ता दिखाने, बुजुर्ग श्रद्धालुओं की जरूरत पर भारी बैग उठाने, भूले-भटके श्रद्धालुओं को मिलाने, घाटों पर श्रद्धालुओं को मदद करने आदि में सहयोग करेंगे. इसके अलावा कुंभ में आए पर्यटकों से अच्छा व्यवहार करने के लिए 6,000 से अधिक पुलिसकर्मियों को भी स्किल ट्रेनिंग दी जाएगी.


महाकुंभ को अलौकिक बनाने की तैयारी
2025 महाकुंभ को अलौकिक बनाने की तैयारी की जा रही है. लाइटों की जगमगाहट से लेकर चमचमाती रोड श्रद्धालुओं एवं पर्यटकों का स्वागत करती नजर आएंगी. शहर को दूसरे जिलों को जोड़ने वाले और शहरी क्षेत्र में संगम की तरफ जाने वाले हर मार्ग पर थीमेटिक लाइटें लगाई जाएंगी, जो कलश, शंख, तीर-धनुष, डमरू और त्रिशूल की आकृतियों में कुंभ की भव्यता को और निखारेंगे.


जनवरी 2025 में होगा महाकुंभ मेला
बता दें कि महाकुंभ मेला जनवरी 2025 से प्रयागराज में आयोजित होने वाला है. योगी सरकार सरकार बड़े पैमाने पर तैयारियां कर रही है, महाकुंभ 12 साल के अंतराल के बाद आयोजित हो रहा है. यह मेला दुनिया का सबसे विशाल, पवित्र, धार्मिक और सांस्कृतिक मेला है, जो 45 दिनों तक चलता है.