Lucknow: सीएम योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को 112 यूपी के दूसरे चरण का शुभारंभ किया.दूसरे चरण में पीआरवी वाहनों की संख्या 4800 से बढ़कर 6278 हो जाएगी.  इसके साथ ही कॉल टेकर्स की संख्या में भी करीब 40 फीसदी का इजाफा होगा. सीएम योगी एडवांस्ड पीआरवी वाहन का फ्लैग ऑफ किया. इस मौके पर डीजीपी प्रशांत कुमार ,एडीजी 112 नीरा रावत और  यूपी पुलिस के विभिन्न अफसर  कार्यक्रम में मौजूद रहे. 5 कालिदास मार्ग मुख्यमंत्री आवास पर कार्यक्रम होगा.


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इस मौके पर सीएम योगी ने कहा कि पीएम ने स्मार्ट पुलिसिंग की नई अवधारणा दी है. योगी ने कहा कि हमने प्रदेश में सुरक्षा का माहौल दिया है. उन्होंने कहा कि यूपी पुलिस ने देश में नई पहचान बनाई है. यूपी में 7 साल से कानून का राज है. यूपी में निवेश का माहौल है. 


 शिकायत के लिए 112 से संपर्क
प्रोटोकॉल एसआईपी तकनीकी के जरिए अब ज्यादा से ज्यादा लोग मदद या शिकायत के लिए 112 से संपर्क कर सकेंगे. लाइन बढ़ाने के साथ ही 112 यूपी कॉल टेकर की संख्या करीब 40 प्रतिशत तक बढ़ा रहा है. बेहतर नेटवर्क कनेक्टिविटी के लिए समर्पित OFC फाइबर लाइन का यूज किया जाएगा.


सीएम हेल्पलाइन से जुड़ेगा 112 यूपी
112 यूपी दूसरे चरण में सीएम हेल्पलाइन समेत 15 नई एजेंसियों के साथ जुड़ेगा.  इसमें मेट्रो, डिजॉस्टर हेल्पलाइन,यीडा, फायर, एसडीआरएफ, यूपीडा, यूपी कॉप, जीआरपी,  एनएचएआई, सेफ सिटी, स्मार्ट सिटी शामिल हैं.  नई तकनीकी के जरिए जिलों में कप्तानों या पुलिस कमिश्रनर के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए भी जुड़ा जा सकेगा. 112 यूपी के दूसरे चरण नेक्स्ट जेन में ईएलएस (इमरजेंसी लोकेशन सर्विस) का इस्तेमाल किया जाएगा. इसके जरिए कॉलर या मदद मांगने वाली की सही लोकेशन मिल सकेगी. यूपी पुलिस इस फीचर का इस्तेमाल करने वाली देश की पहली पुलिस है.


पहचान रखी जाएगी गुप्त
आपातकालीन सेवा 112 यूपी अब और बेहतर रेस्पांस टाइम के साथ वर्तमान क्षमता से दोगुने लोगों की मदद कर सकेगी. इतना ही नहीं हेल्प मांगने वाले या किसी के खिलाफ शिकायत करने वाले अपनी पहचान छुपाने चाहें तो छुपा सकते हैं. पहचान गोपनीय रखी जाएगी.


नहीं करना होगा इंतजार
112 में किसी भी भाषा के कॉलर को मदद के लिए अपनी ही भाषा में बात करने वाले के लिए लंबा इंतजार नहीं करना पड़ेगा.  एआई से लैस चैटबॉट फौरन ट्रांसलेशन के जरिए कॉल टेकर को उनकी समस्या बता देगा. और बिना इंतजार के अपनी बात रख सकेंगे.


ट्रायल के तौर दिए गए थे एसी हेलमेट
चिलचिलाती गर्मी से बचने के लिए यातायात पुलिस की ओर से कर्मियों को ट्रायल के तौर पर एसी हेलमेट दिए गए थे. यह ट्रायल सफल रहा है. अब सीएम योगी खुद इसे सभी जिलों के ट्रैफिक कर्मियों को वितरित करेंगे. अहमदाबाद, गुजरात में सफल ट्रायल के बाद यूपी में पहली बार कानपुर के 7 चौराहों पर कर्मियों को एसी हेलमेट दिए गए थे. इसके बाद लखनऊ के 2 चौराहों पर इसे ट्रैफिक कर्मियों को पहनाया गया था. ट्रैफिक कर्मियों ने इसे काफी सहायक बताया था. बता दें कि ये खास हेलमेट हैदराबाद की एक कंपनी ने बनाया है.


क्या हैं एसी हेलमेट  खूबियां
इस एसी हेलमेट को एक बार चार्ज होने के बाद करीब 8 घंटे तक इस्तेमाल किया जा सकता है. हेलमेट में एक बैटरी लगी है.जिसे चार्ज करने पर यह 8 घंटे तक चलेगी.इस हेलमेट में जहां मोटर लगी है, वहीं सिर के समीप पंखा है. आंखों के पास एक कवर लगा है. इसकी कीमत फिलहाल 12-16 हजार रुपये के बीच में है. खास बात है कि इस हेलमेट का उपयोग सर्दी और गर्मी दोनों ही मौसमों में किया जा सकता है.