Lucknow : जेठ का महीना पूरे उत्तर प्रदेश को तपाए हुए हैं. सोमवार को पश्चिमी यूपी पर प्रचंड गर्मी का प्रकोप बना रहा . यूपी की राजधानी लखनऊ में सोमवार को तापमान 44.3 डिग्री दर्ज किया गया था. इस दौरान शहर के अलग-अलग इलाकों में गर्मी के कारण मौते भी हुई है . 


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कई लोगो की हुई मौत 
राजधानी लखनऊ में प्रचंड गर्मी के कारण 23 लोगों की मौत हो गई. इतना ही नही कानपुर में 8, महोबा में 5, प्रयागराज में 5, हमीरपुर में 2,  इटावा में 2 , कानपुर देहात में 1 की मौत हुई है. मौसम विभाग के अनुसार 31 मई से 2 जून के बीच प्रदेश में आंधी पानी आने का अनुमान लगाए जा रहा जा है. इतना ही नही मौसम विभाग और स्वास्थ्य विभाग ने अलर्ट रहने के दिए निर्देश भी दिए है . 


टूटे सारे रिकॉर्ड
सोमवार से पहले 18 मई को अधिकतम पारा 44.2 डिग्री दर्ज किया गया था . इसके पहले साल 2019 की 30 मई को 44.8 डिग्री पारा रिकॉर्ड हुआ था . लखनऊ में मंगलवार को भी भीषण गर्मी का आदेश था . मई में अब तक का सर्वाधिक पारा 1995 की 31 मई को 46.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था . दूसरे नम्बर पर सबसे गर्म दिन 1966 की 28 मई को रहा था उस दिन तापमन 46.2 डिग्री तक पहुंच गया था . 


लोगो में भारी आक्रोश 
भीषण गर्मी के चलते राजाजीपुरम में बिजली की कटौती होना शुरू हो गया है जिसके कारण क्षेत्रीय लोगो में आक्रोश भर आया है . जिसके बाद सीतापुर रोड पर बनी कॉलोनीयों  के लोगो ने बिजली विभाग के खिलाफ धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया है. वहां पर सैकड़ों की तादात में लोग इकठ्ठा हो गए और साथ ही मौके पर थाना तालकटोरा की पुलिस भी आ गई . 


सीएमओ ने क्या कहा
प्रदेश में लगातार बढ़ रही भीषण गर्मी और उससे हो रही मौतों को लेकर लखनऊ के सीएमओ मनोज अग्रवाल ने कहा है कि इस समय लोगों को बहुत ज्यादा सतर्क होने की जरूरत है.स्वास्थ्य विभाग की तरफ से जो गाइडलाइंस जारी की गई है उसका पालन जरूर करें .गर्मी की वजह से लोगों के मौत की खबरें जरूर मिल रही है लेकिन अभी हमारी तरफ से  कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है. उन्होंने बताया है कि हीट स्ट्रोक या डिहाईड्रेशन होने के बहुत से लक्षण होते हैं ,यह तीन स्टेप में प्राण घातक हो सकता है.जिसके कारण गर्मी से मौत होती है लेकिन यह बहुत रेयर केस में होता है.