UP Gonda/ Atul kumar yadav: जहां एक तरफ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किसानों को हर महीने पीएम किसान सम्मान निधि के माध्यम से 2000 दिया जा रहा है और किसान पीएम किसान सम्मान निधि पाकर खेती के कामों में पैसे को लगा कर अपना जीवन यापन करते हैं. और गोंडा जिले के लाखों किसान इस योजना से लाभान्वित हो रहे हैं. लेकिन गोंडा कृषि विभाग की लापरवाही व विभिन्न कारणों से जिले के लगभग 1.50 लाख किसान प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि से वंचित है.


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कृषि विभाग और जिला प्रशासन के तमाम कोशिशों के बाद भी पीएम किसान सम्मान निधि योजना का विभिन्न कारणों से लाभ नहीं पा रहे हैं और इस योजना से वंचित है.  जिले के चारों तहसीलों के डेढ़ लाख किसानों को पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ दिलाने में गोंडा का कृषि विभाग लापरवाह साबित हो रहा है. पीएम किसान सम्मान निधि से वंचित किसानों को लाभ दिलाने के लिए गोंडा कृषि विभाग ने अपनी एक टीम बनाई थी और गांव-गांव कैंप का आयोजन किया था. लेकिन उसके बाद भी लगभग 1.50 लाख किसान पीएम किसान सम्मान निधि से वंचित है और उनको अभी तक एक भी बार पीएम किसान सम्मान निधि नहीं मिली है. जबकि जिले के अन्य लाखों किसानों को अब तक 13 किस्त पीएम सम्मान निधि की मिल चुकी है. 


गोंडा जिले में अगर पंजीकृत किसानों की गोंडा कृषि विभाग द्वारा बताये गए विभागीय आंकड़ों की बात करें चारों तहसीलों के 514013 किसान आंकड़ों में दर्ज हैं. सदर तहसील में 153444, करनैलगंज में 132306, मनकापुर में 106129, तरबगंज में 122134 किसान शामिल हैं. और जिले के 3 लाख 61 हजार 210 किसानों के खाते में पीएम किसान सम्मान निधि की राशि जा रही है. लेकिन जिलों के चारों तहसीलों के 1 लाख 52 हजार 803 किसानों को अभी तक पीएम किसान सम्मान निधि की एक भी किस्त का लाभ नहीं मिला है.


कृषि विभाग के अनुसार गोंडा जिले के रहने वाले 70-80 हजार किसान गोंडा जिले से बाहर रहते हैं जिनसे गोंडा का कृषि विभाग संपर्क कर योजना का लाभ दिलाने में जुटा हुआ है और 100000 किसानों को विभिन्न कारणों से पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ नहीं मिला है. बहुत से किसानों का आधार में नाम गलत है बैंक में नाम गलत है अभी तक बहुत से किसानों ने पंजीकरण नहीं कराया ईकेवाईसी नहीं कराई है. जिससे इस योजना का लाभ नहीं है. लेकिन किसानों के पंजीकरण कराने व इन समस्याओं को दूर करने की जिम्मेदारी गोंडा की कृषि विभाग की है और गोंडा कृषि विभाग द्वारा डाक विभाग के माध्यम से और कृषि विभाग के कर्मचारियों के माध्यम से गांव-गांव में कैंप लगाकर किसानों की केवाईसी करके योजना का लाभ दिलाने का प्रयास किया जा रहा है. लेकिन प्रयास के बावजूद भी जिले के डेढ़ लाख किसान इस योजना से वंचित है. 


वहीं पूरे मामले पर उप निदेशक कृषि देवीपाटन मंडल प्रेम कुमार ठाकुर ने बताया कि हमारे जिले में लगभग 5 लाख किसान है. 4 लाख किसानों को पीएम किसान सम्मान निधि का लाभ मिल रहा है.  1.50 लाख किसान हमारे ऐसे है जो विभिन्न कारणों से लाभ से वंचित है. एक किसान ऐसे है जिनमें किसी का भूलेख अंकन नहीं हुआ है किसी का बैंक खाता आधार से लिंक नहीं है ऐसे किसान हैं जो पात्र तो है लेकिन उन्होंने अपना पंजीकरण तक अभी नहीं कराया है. इन्हीं सब विभिन्न कारणों से 1 लाख किसानों को लाभ नहीं मिल रहा है. और 50 हजार किसान ऐसे हैं जिन्होंने अभी तक की ई- केवाईसी नहीं कराया है जिन्हें इस योजना का लाभ नहीं.


अब तक भारत सरकार द्वारा इस योजना के अंतर्गत लाभान्वित किसानों को 13 किस्त दी जा चुकी है और 14वीं किस्त जल्द आने वाली है और 14 वीं किस्त के लिए ई-केवाईसी अनिवार्य कर दी गई है. जिले के लगभग डेढ़ लाख किसान ऐसे हैं जिनका अभी तक ई-केवाईसी नहीं हुआ है जो पीएम किसान सम्मान निधि योजना से वंचित है. अभियान चलाकर लगभग 1 हजार किसानों का ई-केवाईसी कराया गया है. और 44 हजार किसानों की विभिन्न समस्याओं का निस्तारण इस अभियान के माध्यम से किया गया है. और इस योजना से वंचित डेढ़ लाख किसानों के लिए फिर से तहसील स्तर पर 13 जून से 23 जून तक कैंप का आयोजन किया गया है. और हमारे न्याय पंचायत स्तर के कर्मचारी किसानों के घर-घर जाकर उनका ई- केवाईसी करने का काम कर रहे है. 70- 80 हजार ऐसी किसान है जो गोंडा जिले से बाहर रहते है. उनको फोन के माध्यम से और संदेश के माध्यम से ई- केवाईसी कराने को लेकर बताया जा रहा है.