कहां है यूपी का पहला और सबसे लंबा एक्सप्रेसवे, लखनऊ-गोरखपुर समेत 12 बड़े शहरों की लाइफलाइन
क्या आप जानते हैं कि यूपी के पांच एक्सप्रेस-वे कौन-से हैं ? पहला और लंबा एक्सप्रेस वे कौन साहै... यदि नहीं, तो इस लेख के माध्यम से हम इस बारे में जानेंगे.
बेहतर कनेक्टिविटी के लिए हाईवे और एक्सप्रेसवे
देश के बहुत से शहरों तक बेहतर कनेक्टिविटी के लिए हाईवे और एक्सप्रेसवे विकसित किए जा रहे हैं. इनके जरिए करोड़ों की संख्या में वाहन दौड़ते नजर आ रहे हैं.
हाईवे और एक्सप्रेस-वे
भारत में आज एक शहर को दूसरे शहर से जोड़ने के लिए विभिन्न हाईवे और एक्सप्रेस-वे मौजूद हैं. इनके माध्यम से प्रतिदिन करोड़ों यात्री अपनी मंजिल तक का सफर तय करते हैं. इसके साथ ही देश की आर्थिक व्यवस्था में भी इन मार्गों का महत्त्व है.
एक्सप्रेस-वे
इनके माध्यम से प्रतिदिन कई टन माल को एक शहर से दूसरे शहर तक भेजा जाता है. आपने कई एक्सप्रेस-वे पर सफर भी किया होगा. क्या आप जानते हैं कि भारत के पांच सबसे लंबे एक्सप्रेस-वे कौन-से हैं ? अगर नहीं, तो इस लेख के माध्यम से जानेंगे.
पांच टॉप एक्सप्रेसवे
आज हम आपको पांच टॉप एक्सप्रेसवे के बारे में बताते हैं, जो लंबाई में पहले स्थान पर हैं. इन हाईवे पर वाहन हवा से बातें करते नजर आएंगे.
गंगा एक्सप्रेसवे (Ganga Expressway)
गंगा एक्सप्रेसवे उत्तर प्रदेश का सबसे लंबा एक्सप्रेसवे कॉरिडोर होगा. 594 किलोमीटर यह 6 लेन का सड़क मार्ग यूपी के 12 जिले मेरठ, हापुड़, बुलंदशहर, अमरोहा, संभल, बदायूं, शाहजहांपुर, हरदोई, उन्नाव, रायबरेली और प्रयागराज तक जाएगा. यह 8 घंटे से कम समय में मेरठ से प्रयागराज का सफर तय कराएगा. इस एक्सप्रेसवे के खुलने से बड़ी संख्या में लोगों सहूलियत मिलेगी.
यमुना एक्सप्रेस वे
यमुना एक्सप्रेस वे पश्चिमी उत्तर प्रदेश का प्रमुख एक्सप्रेस वे है. यह दिल्ली को आगरा से जोड़ने का काम करता है. इसकी कुल लंबाई 65 किलोमीटर है.उत्तर प्रदेश सरकार की विभिन्न अधिसूचनाओं के तहत गौतमबुद्ध नगर, बुलंदशहर, अलीगढ़, महामाया नगर (हाथरस), मथुरा और आगरा जिलों के लगभग 334 गांवों को यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण के तहत अधिसूचित किया गया है.
पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे
पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे उत्तर प्रदेश का वर्तमान में सबसे बड़ा एक्सप्रेस वे भी है. इसकी कुल लंबाई करीब 340 किलोमीटर है. पूर्वांचल एक्सप्रेसवे उत्तर प्रदेश सरकार की उस पहल का हिस्सा है, जिसके तहत पूर्वी उत्तर प्रदेश और बिहार में परिवहन सुविधाओं और व्यापार एवं वाणिज्य गतिविधियों में सुधार के लिए लखनऊ को गाजीपुर से जोड़ा जाएगा.
बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे
बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे साल 2022 में शुरू किया गया था. बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे की कुल लंबाई 296 किलोमीटर है. बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे, यह एक्सप्रेसवे चित्रकूट ज़िले के भरतकूप से शुरू होकर इटावा ज़िले के कुदरैल के पास आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे से जुड़ता है. इस एक्सप्रेसवे का निर्माण उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीईआईडीए) ने किया है.
गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे (Gorakhpur-Shamli Expressway)
गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे की लंबाई 700 किलोमीटर है. यह पश्चिमी उत्तर प्रदेश को पूर्वी उत्तर प्रदेश को जोड़ेगा. यह 22 जिलों और 37 तहसील क्षेत्रों से होकर गुजरेगा. 6 लेन के इस एक्सप्रेसवे से महज 8 घंटे में तय होगा. यह संतकबीरनगर, सिद्धार्थनगर, बलरामपुर, बहराइच, लखनऊ, सीतापुर, शाहजहांपुर, हरदोई, बदायूं, रामपुर, मुरादाबाद, बरेली, संभल, बिजनौर, अमरोहा, मेरठ, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर और शामली कनेक्ट होंगे.
डिस्क्लेमर
लेख में दी गई ये जानकारी सामान्य स्रोतों से इकट्ठा की गई है. इसकी प्रामाणिकता की पुष्टि स्वयं करें. एआई के काल्पनिक चित्रण का जी यूपीयूके हूबहू समान होने का दावा या पुष्टि नहीं करता.