लखनऊ: यूपी चुनाव 2022 में भारतीय जनता पार्टी की अपने बड़े नेताओं को चुनाव मैदान में उतारने की रणनीति पर अब धीरे-धीरे मुहर लगती जा रही है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के बाद अब उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने भी घोषणा कर दी है कि वह आगामी उत्तर प्रदेश विधानसभा का चुनाव लड़ेंगे. दूसरे उपमुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा, यूपी भाजपा अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह के भी चुनाव मैदान में उतरने की चर्चाएं हैं. 


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केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि जनता का विश्वास पाने के लिए चुनाव लड़ना ज़रूरी होता है. किस सीट से चुनाव लड़ूंगा यह पार्टी करेगी. उम्मीद लगाई जा रही है कि केशव प्रसाद मौर्य कौशांबी या प्रयागराज सीट से चुनाव मैदान में उतर सकते हैं. कौशांबी उनका गृह जनपद है. वहीं प्रयागराज कर्मभूमि. वह साल 2014 में प्रयागराज की फूलपुर लोकसभा सीट से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़े थे और जीतकर संसद पहुंचे. साल 2016 में उन्हें यूपी भाजपा का अध्यक्ष बनाया गया.


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केशव प्रसाद के कार्यकाल में भारतीय जनता पार्टी ने 2017 के यूपी विधानसभा चुनाव में शानदार प्रदर्शन करते हुए अकेले दम 312 सीटें जीती थीं. इसके बाद जब सरकार बनी तो गोरखपुर के तत्कालीन सांसद योगी आदित्यनाथ लोकसभा की सदस्यता से इस्तीफा देकर यूपी े मुख्यमंत्री बने और केपी मौर्य उनके डेप्युटी. इस कारण उन्हें भी अपनी लोकसभा सदस्यता से इस्तीफा देना पड़ा था. योगी, मौर्य और डॉ. दिनेश शर्मा तीनों वर्तमान में यूपी विधानपरिषद के सदस्य हैं. 


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अपनी उम्मीदवारी का एलान करते हुए केशव प्रसाद मौर्य ने दावा किया कि भाजपा आगामी यूपी विधानसभा चुनाव में साल 2017 वाला प्रदर्शन दोहराएगी. केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लगातार यूपी आ रहे हैं और जनता का विश्वास हमारे साथ बरकरार है. समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव के ब्राह्मण पॉलिटिक्स पर भी उन्होंने निशाना साधा. समाजवादी पार्टी प्रमुख के 300 यूनिट बिजली फ्री देने के वादे पर केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि जनता उनकी बातों पर विश्वास नहीं करेगी.


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