प्रमोद कुमार/अलीगढ़: अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी की महिला स्टाफ व छात्राओं ने एकत्रित होकर महिलाओं के खिलाफ भेदभाव को रोकने की मांग करते हुए कैंपस के डक पॉइंट से लेकर बाब-ए-सैयद गेट तक प्रोटेस्ट मार्च निकाला. इसके बाद गेट पर ही बैनर तले कैंडल जलाकर इस तरह की गतिविधियों पर विरोध दर्ज किया.


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समान अधिकार की मांग


प्रदर्शन में मौजूद महिला स्टाफ ने कहा कि उन्हें भी समाज व हर क्षेत्र में बराबरी का हक मिलना चाहिए. भेदभाव किसी प्रकार का नहीं करना चाहिए. आगे कहां महिलाओं के खिलाफ सबसे पहले परिवार में ही भेदभाव होता है उसके लिए समाज को जागरूक होने की जरुरत है किसी भेदभाव के कारण महिलाओं व युवतियों के साथ घटनाएं सामने आती हैं. महिलाओं के साथ एएमयू के पुरुष शिक्षक भी शामिल थे और उनका कहना था कि महिला और पुरुष दोनों एक समान हैं. समाज में उन्हें एक जैसे अधिकार और सम्मान मिलना चाहिए. 


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पैदल मार्च के दौरान बड़ी संख्या में विश्वविद्यालय के शिक्षक और छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे. कैंपस में पैदल मार्च करने के बाद सभी प्रदर्शनकारी बाब-ए-सैयद पर एकत्रित हुए और फिर कैंडल जलाकर महिलाओं पर होने वाली आपराधिक घटनाओं का विरोध किया. प्रदर्शनकारियों ने कहा कि महिलाओं की प्रतिभा को उभरने से रोका जाता है. समाज को अपनी यह सोच में बदलाव करना चाहिए. यदि ऐसा नहीं हुआ तो इसका नुकसान समाज और मानवता को होगा. महिलाओं के समर्थन में बड़ी संख्या में पुरुष शिक्षक और छात्रों ने भी कैंडल मार्च में हिस्सा लिया. अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय देश के प्रतिष्ठित विश्वविद्यालय में शुमार है. आधी आबादी के हक में यहां से निकली आवाज यकीनन दूर तक जाएगी. लेकिन इसके लिए समाज को भी संवेदनशील होना पड़ेगा.