लखनऊ: आपने अवैध अतिक्रमण के कई मामले देखे होंगे, जहां लोग जमीन पर कब्जा कर घर बना लेते हैं. इसके बाद प्रशासन द्वारा बुलडोजर चलाकर अवैध निर्माण गिरा दिया जाता है. अगर पुलिस ही खुद अवैध निर्माण करने लग जाए तो क्या किया जाए. उत्तर प्रदेश के लखनऊ हाईकोर्ट (Lucknow Highcourt) में आज ऐसे ही एक चौंकाने वाले मामले की सुनवाई होने जा रही है. यहां पुलिस पर ही सड़क पर अतिक्रमण कर थाने बनवाने का आरोप है. इस मामले में हाईकोर्ट की बेंच ने लखनऊ के पुलिस कमिश्नर (Lucknow Police Commissioner) को तलब किया है. 


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यह है पूरा मामला
जानकारी के मुताबिक लखनऊ उच्च न्यायालय में एक जनहित याचिका दाखिल की गई थी. इसमें पुलिस पर बिजनौर थाने का भवन सड़क पर अवैध अतिक्रमण करके बनवाने का आरोप लगाया गया था. मामले की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने 31 मई 2022 में जवाब मांगा था. साथ ही हाईकोर्ट ने यह भी पूछा था कि थाना बनाने के लिए आवश्यक अनुमति ली गई थी या नहीं. काफी समय बीत जाने के बाद भी कोर्ट को जवाब नहीं दिया गया. इस पर सख्त रुख अपनाते हुए हाइकोर्ट ने पुलिस कमिश्नर को तलब किया. 


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सड़क पर रहता है जाम


जानकारी के मुताबिक न्यायमूर्ति एआर मसूदी और न्यायमूर्ति ओम प्रकाश शुक्ला की खंडपीठ ने यह आदेश दिया है. बताया जा रहा है सीआरपीएफ चौराहे पर साल 2012 से 2014 के बीच चौकी का निर्माण किया गया था. शुरुआत में यह सिर्फ एक कमरे की थी, मगर धीरे-धीरे अतिक्रमण बढ़ने के बाद यहीं से थाना चलाया जाने लगा. थाना बनने के चलते सड़क पर जाम रहता है. इससे लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. साथ ही यह भी बताया जा रहा है कि चौराहे से 500 मीटर की दूरी पर थाने के लिए जमीन प्रस्तावित है. 


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