आलोक त्रिपाठी/गाजीपुर: यूपी की बांदा जेल में बंद मुख्तार अंसारी और उसके परिवार की मुश्किलें लगातार बढ़ती जा रही हैं. शनिवार को सदर का कोतवाली क्षेत्र के रजदेपुर देहाती में आफशां अंसारी के नाम पर दर्ज संपत्ति को प्रशासन ने कुर्क कर दिया है. इन संपत्तियों को मुख्तार की अवैध अर्जित कमाई और बेनामी संपत्ति मानते हुए कुर्क किया है. एसपी रोहन पी बोत्रे की मौजूदगी में पुलिस ने मुनादी कराई और कुर्की का नोटिस चस्पा किया. दोनों प्रॉपर्टियों की बाजार में कीमत तकरीबन 6 करोड़ 30 लाख रुपये बताई जा रही है. 


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आफशां अंसारी की प्रॉपर्टी कुर्क
दरअसल गाजीपुर के सदर कोतवाली इलाके की पहली प्रॉपर्टी रजदेपुर और दूसरी प्रॉपर्टी नंदगंज के फतेहउल्लाह पुर की है. भारी फोर्स के साथ मुख्तार अंसारी की पत्नी आफशां अंसारी की दोनों बेनामी संपत्तियों को मुनादी बजाकर कुर्क किया गया. गौरतलब हो कि इससे पहले भी पुलिस ने 6 अगस्त को भी आफशां की जमीन को कुर्क किया था, उसकी कीमत 2.25 करोड़ रुपये थी.  


 


जिलाधिकारी के निर्देश पर कार्रवाई
एसपी रोहन पी बोत्रे ने कहा कि अपराध और अपराधियों के खिलाफ लगातार कार्रवाई की जा रही है. मुख्तार अंसारी गैंग के खिलाफ पिछले महीने से अब तक अवैध रूप से अर्जित की गई करीब 25 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क की गई है. 


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जानें कौन हैं मुख्तार अंसारी?
अपराध की दुनिया से राजनीति में कदम रखने वालों में से एक नाम मुख्तार अंसारी का भी शामिल है. मुख्तार अंसारी यूपी की सियासत का जाना-माना नाम है. मुख्तार अंसारी का जन्म यूपी के गाजीपुर जिले में हुआ. मुख्तार के दादा अहमद अंसारी अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष रहे थे. जबकि पिता एक कम्युनिस्ट नेता थे. जैसे ही मुख्तार की पढ़ाई पूरी हुई उन्होंने अपनी अलग राह चुन ली, जिसके बाद उनकी जिंदगी ऐसी हो गई जैसे कोई फिल्मी दुनिया हो. 


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