Neelkanth Bird Significance on Dussehra: देश भर में आज विजदशमी (Dussehra 2022) की धूम है. हर साल दशहरा अश्विन मास की शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है. इस साल यह पावन आज है. मान्यता है कि विजयादशमी के दिन भगवान श्रीराम (Lord Shri Ram) ने रावण (Ravan Vadhh) का वध किया था. यह त्योहार अधर्म पर धर्म की जीत का प्रतीक है. दशहरा पर कई मान्यताएं प्रचलित हैं. उन्हीं में से एक है, नीलकंठ पक्षी (Indian Roller) के दर्शन करना. मान्यता है कि विजयदशमी पर नीलकंठ (Neelkanth Darshan) को देखना शुभ होता है. अगर आपको भी आज यह पक्षी दिखता है तो मानिए आपकी किस्मत खुलने वाली है. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

हर मनोकामना पूरी करता है नीलकंठ 
नीलकंठ पक्षी भगवान भोलेनाथ का रूप माना जाता है. कहते हैं यह पक्षी मनोकामनाएं पूरी करता है. मान्‍यता है कि नीलकंठ पक्षी के दर्शन करने से व्‍यक्ति की बंद किस्मत का ताला खुल जाता है. उसे हर काम में सफलता, अच्छा स्वास्थ और सुख-समृद्धि मिलती है. कहते हैं दशमी तिथि को अगर किसी गरीब को नीलकंठ पक्षी दिख जाए, तो वह भी मालामाल हो जाता है. किसी का विवाह ना हो रहा हो और उसे दशहरा पर नीलकंठ के दर्शन हो जाते हैं तो शादी का योग बन जाता हैं.


Dussehra 2022 Wishes: दशहरा पर अपने दोस्तों और रिश्तेदारों को भेजें ये खास मैसेज


नीलकंठ दिखने पर इस मंत्र का करें जाप 
अगर दशहरा के दिन नीलकंठ पक्षी दिख जाएं तो मंत्र
कृत्वा नीराजनं राजा बालवृद्धयं यता बलम्।
शोभनम खंजनं पश्येज्जलगोगोष्ठसंनिघौ।।
नीलग्रीव शुभग्रीव सर्वकामफलप्रद।
पृथ्वियामवतीर्णोसि खच्चरीट नमोस्तुते।।


Dussehra 2022: दशहरे पर बन रहे तीन खास संयोग, फटाफट नोट करें रावण दहन का समय


क्या है पौराणिक कथा
पौराणिक कथाओं के अनुसार, भगवान राम जब लंकापति रावण का वध करने जा रहे थे, तब उन्‍हें नीलकंठ के दर्शन हुए थे. इसके बाद श्रीराम को रावण पर विजय मिली थी. भगवान राम माता सीता को साथ लेकर लौटे थे. यही वजह है कि नीलकंठ का दिखना शुभ माना गया है. बता दें कि रावण वध के बाद से ही विजयादशमी या दशहरा पर्व मनाया जाता है. 


WATCH: रावण-कुंभकरण के वध के लिए भगवान विष्णु को तीन बार लेना पड़ा था अवतार, जानें पूरी कहानी