भारत में राजा महाराजाओं द्वारा बनावाएं हुआ कई बडे़-बड़े धोबी घाट मौजूद है. ये सभी भारत के अलग शहरों में स्थित है.
बनारस के मुख्य घाटों में से एक लाली घाट है. इस घाट को धोबी घाट के नाम से जाना जाता है.
ये घाट हरिश्चंद्र घाट के निकट है. इस घाट के आस-पास चारों तरफ धोबी समाज बसा हुआ है
इस घाट पर आज भी उस समय के कपड़े धोने और सुखाने के उनके पारंपरिक काम के निशान मौजूद हैं.
यह घाट 18वीं शताब्दी के मराठा शासनकाल के दौरान बनाया गया था, यहां के लाल पत्थरों के कारण इसका नाम लाली घाट पड़ा था.
ऊपरी हिस्से में लम्बोदर चिंतामणि और ज्येष्ठ विनायक (भगवान गणेश के नाम), किरातेश्वर, जयंत शिव लिंगम और महा लक्ष्मी के मंदिर हैं.
इस घाट पर लोग अपने पूर्वजों का पिण्ड दान और तर्पण करने आते है. दक्षिण भारतीयों की भीड़ यहां पर हमेशा लगी रहती है.
वाराणसी के धोबी घाट को हरिश्चंद्र घाट के पास स्थित धोबी घाट के नाम से भी जाना जाता है. कुछ धोबियों के मुताबिक, यह घाट कम से कम 150 साल पुराना है. साल 1890 में ब्रिटिश सरकार के दौरान इस घाट का निर्माण हुआ था.