Champai Soren News:  ईडी की पूछताछ के बाद झारखंड में सियासी हलचल तेज हो गई है. बताया जा रहा है कि हेमंत सोरेन अपनी गद्दी छोड़ सकते हैं. ऐसे में कयास भी लगाये जा रहे हैं कि अगर वो ऐसा करते हैं तो उनकी जगह किसे कमान मिल सकती है. वैसे तो कई नाम हैं. लेकिन चंपई सोरेन के नाम की चर्चा तेज हो गई है. आखिर कौन हैं ये शख्स जिसके बारे में हम आपको विस्तार से बताएंगे.चंपई सोरेन, सरायकेला से विधायक हैं और उन्हें दूसरी बार मंत्री बनने का मौका मिला. राजनीति में आने से पहले इनका सियासत से नाता नहीं था. ये खेती किया करते थे.


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एक नाम झारखंड टाइगर भी

इन्हें लोग झारखंड टाइगर के नाम से भी बुलाते हैं. खास बात यह है कि यह सियासत में आने से पहले इनका खेती बारी से नाता था. लेकिन शीबू सोरेन के सहयोगी रहे. कई मौकों पर सीएम हेमंत सोरेन को इनका पैर छूते हुए भी देखा गया है. आप यहीं से अंदाजा लगा सकते हैं कि इनकी अहमियत झामुमो और खुद सीएम सोरेन के नजरों में कितनी होगी. कहा यह भी जाता है कि चाहे मामला सरकार का हो या पार्टी का अहम विषयों पर हेमंत सोरेन इनसे सलाह मशविरा जरूर करते रहे हैं.


1991 में सियासत में एंट्री

1991 में पहली बार उपचुनाव में निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर जीत दर्ज की थी. वो जीत इसलिए बड़ी हुई कि इन्हों कद्दावर सांसद कृष्णा मार्डी की पत्नी को हराया था. 1995 में झामुमो के टिकट पर जीत हासिल की. लेकिन 2000 में बीजेपी के अनंतराम टुडू से चुनाव हार गए थे. लेकिन 2005 से लगातार सरायकेला से विधायक हैं. 2019 में बीजेपी के गणेश महाली को हराया था.


सरायरकेला के जिलिंगगोड़ा में 1956 में  सेमल सोरेन और माधव सोरेन घर इनका जन्म हुआ था. अपने तीन भाइयों और एक बहन में ये सबसे बड़े हैं. अगर शैक्षणिक योग्यता की बात करें तो ये मैट्रिक पास हैं. इनकी शादी मानको सोरेन से हुई है और इनके चार बेटे और तीन बेटियां हैं.