Yawning: किसी को देखकर क्यों आती है जम्हाई, इसका पता चल गया है..आप भी जान लीजिए
Reason Of Yawn: वैसे तो इस पर काफी लंबे समय से रिसर्च चल रही थी और कई निष्कर्ष भी निकाले जा चुके हैं. लेकिन हाल ही में इटली के एक वैज्ञानिक ने बड़ा ही सटीक और दिलचस्प कारण बताया है. इसके बाद जम्हाई पर एक बार फिर से चर्चा चलने लगी है.
Research On Yawning: आपने कई बार यह नोटिस किया होगा जब आपके सामने कोई जम्हाई लेता है तो आपको अपने आप जम्हाई आ जाती है. जम्हाई आना या जम्हाई लेना कोई बुरी बात नहीं है. लेकिन इसके कई कारण भी होते हैं और किसी को देखकर जम्हाई क्यों आती है, इस बारे में भी निष्कर्ष निकाला जा चुका है. आइए जम्हाई के बारे में कुछ और भी चौंकाने वाली बातें जानने की कोशिश करते हैं.
एक खास न्यूरॉन का हाथ
दरअसल, इंटरनेशनल मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हाल ही में जम्हाई का मामला एक बार फिर चर्चा में सामने इसलिए आया क्योंकि इटली के एक वैज्ञानिक ने एक रिसर्च के आधार पर जम्हाई के ऊपर एक टिप्पणी की है. उन्होंने यह कंफर्म किया है कि किसी को देखकर जम्हाई आने के पीछे एक खास न्यूरॉन का हाथ है. इसे मिरर न्यूरॉन कहते हैं. यह न्यूरॉन कुछ भी नया सीखने, नकल करने और सहानुभूति दिखाने से जुड़ा हुआ है.
सीधा कनेक्शन हमारे ब्रेन से
हालांकि इस न्यूरॉन की खोज 1996 में जियाकोमो रिजोलाटी नाम के न्यूरोबायोलॉजिस्ट ने की थी. मीडिया रिपोर्ट्स में इस बात का जिक्र है कि उस दौरान बंदर के दिमाग पर रिसर्च करके न्यूरॉन की नकल करने की एक्टिविटी समझी थी. इस पूरी प्रक्रिया का सीधा कनेक्शन हमारे ब्रेन से है. आखिर में जब इंसानों में यह प्रयोग हुआ, तो पता चला कि वो यहां भी हूबहू वैसा ही काम करता है.
वैज्ञानिक कारणों से ऐसा
एक अन्य मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक मिरर न्यूरॉन दिमाग के चार हिस्सों- प्री मोटर, इंफीरियर फ्रंटल गायरस, पेराइटल लोब और सुपीरियल टेम्पोरल सुलकस में पाया जाता है. इनके काम करने की क्षमता पर ये न्यूरॉन अपना प्रभाव छोड़ता है. फिलहाल इतना तो तय है कि वैज्ञानिक कारणों से ऐसा होता है और यह काफी लंबे समय से है.