Imran Khan Attacks Qamar Javed Bajwa: पूर्व आर्मी चीफ बाजवा पर भड़के इमरान खान, लगाया `डबल गेम` का आरोप, बोले- बस ये गलती हो गई
Pakistan News: इमरान खान ने दावा किया कि तत्कालीन सैन्य प्रतिष्ठान उनकी सरकार को गिराने के लिए पीएमएल-एन सुप्रीमो नवाज शरीफ के संपर्क में थे और अक्टूबर 2021 में लेफ्टिनेंट जनरल (रिटायर्ड) फैज हमीद को आईएसआई प्रमुख के पद से हटाने के बाद उनकी सरकार के खिलाफ साजिश साफ हो गई.
Pakistan Army Chief: पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री और पीटीआई के अध्यक्ष इमरान खान ने पूर्व आर्मी चीफ जनरल (रिटायर्ड) कमर जावेद बाजवा पर उनकी सरकार के खिलाफ 'डबल गेम' खेलने का आरोप लगाया है. इमरान ने कबूल किया कि उन्होंने 2019 में तत्कालीन आर्मी चीफ बाजवा का कार्यकाल बढ़ाकर बड़ी गलती की.
एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, एक लोकल टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में पूर्व पीएम ने खेद जताया कि उन्होंने तत्कालीन सेना प्रमुख पर अपना भरोसा जताया. खान ने कहा, 'मैं जनरल बाजवा की बताई हर बात पर यकीन करता था, क्योंकि हमारे हित एक जैसे थे कि हमें देश को बचाना है.'
अप्रैल में बेदखल हुए थे इमरान
इस साल अप्रैल में विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव के जरिए इमरान खान को सत्ता से बेदखल कर दिया गया था. खान ने कहा कि उन्हें इंटेलिजेंस ब्यूरो (आईबी) से भी रिपोर्ट मिली है कि उनकी सरकार के खिलाफ कौन से खेल खेले गए थे. पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के प्रमुख ने दावा किया कि तत्कालीन सैन्य प्रतिष्ठान उनकी सरकार को गिराने के लिए पीएमएल-एन सुप्रीमो नवाज शरीफ के संपर्क में थे और अक्टूबर 2021 में लेफ्टिनेंट जनरल (रिटायर्ड) फैज हमीद को आईएसआई प्रमुख के पद से हटाने के बाद उनकी सरकार के खिलाफ साजिश साफ हो गई.
'डबल गेम खेल रहे थे बाजवा'
पाकिस्तान मुस्लिम लीग-कैद-ए-आजम (पीएमएल-क्यू) के मूनिस इलाही के हालिया दावे के बारे में पूछे जाने पर कि जनरल बाजवा ने उन्हें पीटीआई का समर्थन करने के लिए कहा, खान ने कहा, 'यह मुमकिन है कि उन्हें (मूनिस) इमरान खान का समर्थन करने के लिए कहा गया था, जबकि दूसरे (चौधरी शुजात हुसैन) को पीएमएल-एन के साथ जाने के लिए कहा गया था.'
खान ने कहा, 'जनरल बाजवा दोहरा खेल खेल रहे थे और मुझे बाद में पता चला कि पीटीआई के सदस्यों को भी अलग संदेश दिया जा रहा था.' इस बीच, प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने रविवार को खान पर निशाना साधा कि वह सत्ता हासिल करने की कोशिश कर रहे हैं, चाहे इसका नतीजा देश की नींव को कमजोर करना ही क्यों न हो.
(इनपुट- IANS)
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