Explainer: ब्रह्मांड तेजी से फैल रहा, फिर एंड्रोमेडा गैलेक्सी और मिल्की क्यों आ रहीं पास? एक दिन टकराएंगी
Andromeda-Milky Way Collision: एक दिन एंड्रोमेडा और मिल्की वे गैलेक्सी की टक्कर तय है. एंड्रोमेडा करीब 300 किलोमीटर प्रति सेकेंड की रफ्तार से मिल्की वे की ओर बढ़ रही है. वैज्ञानिक अनुमान लगाते हैं कि आज से करीब 4.5 बिलियन साल बाद एंड्रोमेडा गैलेक्सी, मिल्की वे से टकराएंगी. लेकिन अगर बिग बैंग के बाद से ही ब्रह्मांड फैल रहा है तो दोनों आकाशगंगाएं एक-दूसरे के करीब कैसे आ रही हैं?
एंड्रोमेडा गैलेक्सी के बारे में जानिए
एंड्रोमेडा हमारी Milky Way की पड़ोसी गैलेक्सी है. यह पृथ्वी से कोई 25 लाख प्रकाश वर्ष दूर है. एंड्रोमेडा लगभग 1.52 लाख प्रकाश वर्ष में फैली हुई है. एंड्रोमेडा गैलेक्सी का द्रव्यमान हमारी Milky Way गैलेक्सी जितना ही बताया जाता है. इसे रात को आकाश में आसानी से देखा जा सकता है.
एंड्रोमेडा और मिल्की वे आकाशगंगा
एंड्रोमेडा और मिल्की वे, दोनों ही लोकल ग्रुप में स्थित हैं. एंड्रोमेडा करीब 300 किलोमीटर प्रति सेकेंड की रफ्तार से मिल्की वे की ओर बढ़ रही है. करीब 5 बिलियन साल में दोनों आकाशगंगाएं टकराएंगी, उनके मिलने से एक नई आकाशगंगा जन्म लेगी.
ब्रह्मांड फैल रहा तो करीब क्यों आ रहीं दोनों आकाशगंगाएं?
करीब 13.8 बिलियन साल पहले, बिग बैंग के बाद से ही ब्रह्मांड फैल रहा है. महान खगोलविद एडविन हब्बल ने हमें 1929 में ही यह बता दिया था. लेकिन ब्रह्मांड के फैलने का मतलब यह नहीं कि सब कुछ एक-दूसरे से दूर जा रहा है. हम और आप यहीं पर हैं, पृथ्वी भी और सूर्य भी. न तो मिल्की वे फैल रही है, न ही आकाशगंगाओं का लोकल ग्रुप.
ब्रह्मांड के फैलने का मतलब यह है कि ऐसा बेहद विशाल स्तर पर होता है. आकाशगंगाओं को तो गुरुत्वाकर्षण ने बांध रखा है. केवल सबसे बड़े पैमाने पर ही ब्रह्मांडीय विस्तार इतना मजबूत है कि वह गुरुत्वाकर्षण पर काबू पा सके. छोटे पैमाने पर, यानी तारों और आकाशगंगाओं, यहां तक कि गैलेक्सी क्लस्टर्स के बराबर द्रव्यमान पर - गुरुत्वाकर्षण चीजों को एक साथ रखने के लिए पर्याप्त मजबूत है.
एंड्रोमेडा और मिल्की वे की टक्कर कैसे होगी?
ब्रह्मांड में आकाशगंगाओं की टक्कर आम बात है. एंड्रोमेडा और मिल्की वे, दोनों ही पहले कई और आकाशगंगाओं से टकरा चुकी हैं. एंड्रोमेडा में करीब एक ट्रिलियन तारे हैं और मिल्की वे में लगभग 300 बिलियन. इसके बावजूद दोनों आकाशगंगाओं की टक्कर में तारों के टकराने की संभावना बेहद कम है. ऐसा इसलिए क्योंकि तारों के बीच की दूरी काफी ज्यादा है. सूर्य के बाद पृथ्वी का सबसे निकटतम तारा प्रॉक्सिमा सेंटॉरी है, जो लगभग 4.2 प्रकाश वर्ष (4.0×1013 किमी) दूर है.
दोनों आकाशगंगाओं के केंद्र में महाविशाल ब्लैक होल मौजूद हैं, ये ब्लैक होल नई बनी आकाशगंगा के केंद्र के पास एक निश्चित अवधि में एकत्रित होंगे, जिसमें लाखों वर्ष लग सकते हैं. जहां तक हमारे सौरमंडल का सवाल है, वैज्ञानिकों का अनुमान है कि इस बात की 50% संभावना है कि एक विलीन आकाशगंगा में, सौरमंडल अपनी वर्तमान दूरी की तुलना में आकाशगंगा के केंद्र से तीन गुना दूर बह जाएगा. हालांकि, इससे सूर्य और ग्रहों के सिस्टम पर कोई असर नहीं होगा.
टक्कर से पैदा होने वाली गैलेक्सी का नाम क्या होगा?
Milky Way और Andromeda, न केवल एक-दूसरे से जुड़ी हुई हैं, बल्कि करीब भी आ रही हैं. अनुमान है कि लगभग पांच अरब साल में वे आपस में टकराएंगी और एक नई आकाशगंगा का निर्माण करेंगी. नई बनने वाली आकाशगंगा को पहले से ही 'मिल्कोमेडा' नाम दिया जा चुका है.