मां-बाप डॉक्टर तो बीवी हैं डिजाइनर, इस एक्टर की बॉलीवुड ने नहीं समझी इज्जत तो बांग्लादेश में जाकर बना सुपरस्टार

Bangladesh News: बॉलीवुड एक्टर की ये कहानी काफी मशहूर है. उन्होंने 100 से ज्यादा फिल्मों में किया काम. लेकिन क्या आप जानते हैं ये बॉलीवुड से ज्यादा बांग्लादेश की फिल्मों में मशहूर हुए. ये कहानी है अनन्या पांडे के पिता चंकी पांडे की. जिनका असली नाम तो कुछ और ही है.

वर्षा Sat, 10 Aug 2024-3:27 pm,
1/8

बांग्लादेश में तख्तापलट, कौन हैं बांग्लादेश का सुपरस्टार

पूरी दुनिया में बांग्लादेश की हालत पर चर्चा हो रही है. शेख हसीना सरकार का तख्तापलट हो गया है. दुनियाभर की नजर इस देश पर है. वहां की जनता सड़कों पर और प्रधानमंत्री रहीं शेख हसीना को देश छोड़कर भागना पड़ा. इस बीच कहानी ऐसे बॉलीवुड एक्टर की जिन्हें बांग्लादेश की जनता ने इतना प्यार दिया कि वह वहां सुपरस्टार बन गए. वहां के अमिताभ बच्चन भी कहलाए. चलिए बताते हैं चंकी पांडे की कहानी, जब उन्हें बांग्लादेश ने सुपरस्टार बना दिया.

2/8

नकली नाम से की 100 से ज्यादा फिल्में

चंकी पांडे का असली नाम सुयश पांडे है. 26 सितंबर 1962 को जन्मे एक्टर ने स्टेज नाम चंकी पांडे कर लिया. 100 से ज्यादा फिल्में करने वाले चंकी पांडे ने एक वक्त काफी बुरा देखा. जब साल 1987-1994 में बैक टू बैक उनकी फिल्में पिट रही थी. हालत ये हो गई कि बॉलीवुड में उनका करियर दांव पर लग गया.

3/8

क्या करती हैं चंकी पांडे की पत्नी, क्या करते थे माता-पिता

शुरुआत करते हैं चंकी पांडे की फैमिली से. उनके पिता शरद पांडे का बॉलीवुड से या फिल्मों से कोई लेना देना नहीं था. वह तो हार्ट सर्जन हुआ करते थे. ऐसे डॉक्टर जिन्होंने अपने क्षेत्र में खूब नाम कमाया. वह भारत में पहले ऐसे सर्जन थे जिन्होंने पहला हार्ट ट्रांसप्लांट यिा. यही चंकी पांडे की मां का नाम स्नेहलता पांडे था और वह भी डॉक्टर, फिजिशनल और डाइटिशन थीं. चंकी पांडे के एक भाई भी हैं जिनका नाम चिक्की पांडे है. बात करें चंकी पांडे की पत्नी भावना पांडे की तो वह कॉस्ट्यूम डिजाइनर हैं. दोनों की दो बेटियां हैं अनन्या पांडे और रीसा पांडे.

 

4/8

बांग्लादेश का सुपरस्टार

चंकी पांडे ने नई राह अपनाई. 'आग ही आग' जैसी मल्टीस्टार फिल्म से डेब्यू किया. आगे चलकर अनिल कपूर की 'तेजाब' में सपोर्टिंग रोल प्ले किया तो आँखें जैसी सुपरहिट फिल्म दी. मगर देखते ही देखते एक समय ऐसा आया कि उनके पास काम नहीं था. ऐसे में उन्होंने वो किया जो उस वक्त किसी ने सोची भी नहीं था. साल 1995 में उन्होंने बॉलीवुड की बजाय बांग्लादेशी सिनेमा में डेब्यू किया. तब वह वहां के सुपरस्टार बन गए. ये सिलसिला साल 2003 तक चलता रहा.

5/8

बांग्लादेश की जनता के शुक्रगुजार हैं चंकी पांडे

आउटलुक को दिए एक इंटरव्यू में, चंकी पांडे ने खुद अपने बांग्लादेश जाने की वजह के बारे में बात की थी. उन्होंने कहा था कि 33 सालों के करियर में उन्होंने अच्छा और बुरा दोनों समय देखा. आंखें जैसी हिट फिल्म देने के बाद एक वक्त ऐसा था जब वह काम को लेकर परेशान थे. तब उन्होंने बांग्लादेश जाने का तय किया और वह शुक्रगुजार हैं कि वहां की जनता ने उन्हें इतना प्यार दिया कि सबकुछ ठीक कर दिया.

6/8

अपनी बेटी को क्या सीख देते हैं चंकी पांडे

चंकी पांडे फिल्मी करियर के फेल और पास होने पर कहते हैं कि वह अपनी बेटी और एक्ट्रेस अनन्या पांडे को भी यही समझाते हैं कि करियर में कुछ अच्छा करना है तो पहले दर्शकों का प्यार हासिल करो और उनका सम्मान करो. फेलियर को संभाल पाना असान है लेकिन सक्सेस को नहीं.

7/8

चंकी पांडे की बांग्लादेशी फिल्में

चंकी पांडे ने  ‘स्वामी केनो आसामी’, ‘बेश कोरेची प्रेम कोरेची’ जैसी कुल 6 बांग्लादेशी फिल्मों में काम किया. उन्हें वहां की लोकल भाषा नहीं आती थी तो भी उन्होंने इतनी मेहनत की कि सफलता लेकर ही लौटे.

8/8

बॉलीवुड को फिर अपनाना पड़ा

फिर साल 1997 से 2002 तक चंकी पांडे को बॉलीवुड में काफी लो बजट की फिल्में ऑफऱ हो रही थी. लेकिन हारकर घर बैठने से अच्छा उन्होंने इन सब चुनौतियों को फेस किया. आखिरकार साल 2003 में उनकी वापसी बॉलीवुड में शानदार हुई. उन्होंने डॉन, मुंबई से आ गया मेरा दोस्त, अपना सपना मनी मनी और हाउसफुल जैसी फिल्मों में काम किया. 

ZEENEWS TRENDING STORIES

By continuing to use the site, you agree to the use of cookies. You can find out more by Tapping this link