Third World War: पहले रूस-यूक्रेन जंग, फिर गाजा में हमला और अब हूती संकट, क्या पक्का हो गया तीसरा विश्वयुद्ध?
Houthi Crisis: पहले रूस-यूक्रेन जंग, फिर इजरायल-हमास में विवाद और अब हूती संकट (Houthi Yemen War), क्या इन तीन वजहों से दुनिया में तीसरा विश्वयुद्ध (Third World War) होने जा रहा है. इन हालातों के बाद दुनिया टेंशन में है. इजरायल का हमास और हिजबुल्ला के साथ पहले ही संघर्ष चल रहा है. और अब हूती विद्रोहियों पर हमले से पश्चिम एशिया में जंग का दायरा बढ़ सकता है. सबको चिंता है कि ये सभी हमले मिलकर एक बड़ा महायुद्ध बन सकते हैं यानी हूती संकट से तीसरे विश्वयुद्ध की शुरुआत संभव है. आइए जानते हैं कि तीसरा विश्वयुद्ध होने के कयास क्यों लगाए जा रहे हैं.
बता दें कि रूस-यूक्रेन हो, इजरायल-हमास हो या नया हूती संकट, कहीं भी युद्धविराम होता नहीं दिख रहा है. जब तक एक मोर्चे पर जंग खत्म होने की संभावना दिखती है तब तक दूसरी जगह लड़ाई छिड़ जाती है. इजरायल से आ रही तस्वीरों में पश्चिम एशिया में बड़ा युद्ध होने की वजह दिख रही है. इजरायल की सेना ने आज ही गाजा पट्टी में हमला किया. इस हवाई हमले में दर्जनों आतंकियों के मारे जाने की खबर है. दावा है कि इसमें हमास की नुकबा फोर्स के कमांडर भी मारे गए हैं. हमास के बाद हिजबुल्ला के लड़ाके इजरायल पर दर्जनों रॉकेट फायर कर रहे हैं. नया हमला लेबनान से हो रहा है और इनका मुकाबला करने के लिए इजरायल की तरफ से सर्जिकल स्ट्राइक्स हो रही हैं.
8 जनवरी को इजराइली सेना ने लेबनान पर ड्रोन से हमला किया. जिसमें हिजबुल्लाह का सीनियर कमांडर विसाम अल-तविल मारा गया था. हिजबुल्लाह के आतंकी एक कार में थे, जब इजराइल ने हवाई हमला करके उन्हें मार दिया. और उसका बदला लने के लिए हिजबुल्लाह की तरफ से इजरायल पर रॉकेट हमले हो रहे हैं. इजरायल की सेना हमास और हिजबुल्ला पर एक साथ जवाबी कार्रवाई कर रही है. गाजा के खान यूनिस इलाके में सुरंगे और हथियारों का जखीरा मिल रहा है. अब तक की कार्रवाई में 23 हजार से ज्यादा लोग मारे जा चुके हैं.
गौरतलब है कि हिजबुल्ला के दखल ने जंग को गाजा से पड़ोसी लेबनान तक पहुंचा दिया है. दुनिया को डर है कहीं ये और आगे ना बढ़ जाए. अमेरिकी अखबार ‘न्यूयॉर्क टाइम्स’ की एक रिपोर्ट में लेबनान के सैन्य अफसरों के हवाले से कहा गया कि इजराइली सेना के हमलों का असर पूरे पश्चिम एशिया पर पड़ सकता है. लेबनान को आशंका है कि यह जंग अब पूरे अरब इलाके को अपनी चपेट में ले सकती है.
गाजा पट्टी से कहीं बुरे हालात रूस-यूक्रेन की सीमा पर हैं. अमेरिका सहित दूसरे देशों का ध्यान यूक्रेन के बाद गाजा और अब हूती संकट पर है. इसका फायदा उठाकर रूस ने यूक्रेन पर भीषण हमले किए हैं. रूस के हमलों में यूक्रेन के टैंक, बख्तरबंद गाड़ियों, तोपखाने और मिलिट्री साजो-सामान को बड़ा नुकसान हुआ है. दावा है कि रूस-यूक्रेन सीमा पर 42 जगहों पर जंग चल रही है. और यूक्रेन की सेना मुकाबला नहीं कर पा रही है. यानी संभव है कि अगले कुछ महीनों में रूस को यूक्रेन पर बढ़त मिल जाए. तब अमेरिका और उसके सहयोगी देश परमाणु हमले को लेकर विचार करने लगेंगे और अगर किसी भी पक्ष ने परमाणु मिसाइलें दागीं तो तीसरे विश्वयुद्ध का खतरा और बढ़ जाएगा.
हूती विद्रोहियों पर हमला सबसे ताजा खबर है और ये भी दुनिया के लिए कम खतरनाक नहीं है. अगर पश्चिम एशिया का कोई बड़ा देश सीधे-सीधे हूती विद्रोहियों का साथ दे तो जंग एक देश से कई मुल्कों तक फैल जाएगी. अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा कि मैंने पहले ही ईरान को संदेश दे दिया है, वे जानते हैं कि इस मामले में कुछ भी नहीं करना है. हम ये सुनिश्चित करेंगे कि अगर हूती अपना ऐसा रवैया जारी रखेंगे तो हम उन्हें जवाब देंगे. मेरे हिसाब से हमले में किसी भी नागरिक को कोई नुकसान नहीं हुआ. यही वजह है कि ये ऑपरेशन पूरी तरह सफल रहा. वहीं, यूके के पीएम ऋषि सुनक ने कहा कि हम स्थिति की निगरानी करना जारी रखेंगे, लेकिन ये स्पष्ट है कि इस प्रकार के व्यवहार पर प्रतिक्रिया के बिना काबू नहीं पाया जा सकता. हमें एक मजबूत संकेत भेजने की जरूरत है कि अंतरराष्ट्रीय कानून का ये उल्लंघन गलत है. लोग बिना किसी डर के इस तरह की हरकत नहीं कर सकते और इसीलिए हमने सहयोगियों के साथ मिलकर ये कार्रवाई करने का फैसला किया.