Akshaya Navami 2024: अक्षय नवमी के दिन आंवले के पेड़ की पूजा होती है. मान्यता है कि आंवले के पेड़ में भगवान विष्णु निवास करते हैं. ऐसे में आंवले के पेड़ की पूजा करने से भगवान विष्णु की पूजा मानी जाती है. इस बार यह 10 नवंबर को मनाया जाएगा. मान्यताओं के मुताबिक हर साल इसे कार्तिक माह के शुक्ल पक्ष के दिन नवमी तिथि को मनाते हैं.


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अक्षय नवमी को आंवला नवमी भी कहते हैं. इस दिन मान्यताओं के मुताबिक आंवलें के पेड़ के नीचे भोजन बनाते हैं. इसके बाद आंवले की पेड़ की आरती करके वहां एक दिया जला देते हैं. पूजा के बाद प्रसाद ग्रहण करते हैं. अब चूंकि आंवले के पेड़ में भगवान विष्णु का निवास होता है ऐसे में आंवले के पेड़ की पूजा भगवान विष्णु की पूजा मानी जाती है. तो ऐसे में मनवांछित फल के लिए भगवान विष्णु की आरती जरूर करें. भक्तों की सुविधा के लिए यहां आरती लिखे गए हैं जिससे कि उन्हें पढ़ने में सुविधा हो.


भगवान विष्णु की आरती


ओम जय जगदीश हरे, स्वामी! जय जगदीश हरे।
भक्तजनों के संकट क्षण में दूर करे॥


जो ध्यावै फल पावै, दुख बिनसे मन का।
सुख-संपत्ति घर आवै, कष्ट मिटे तन का॥
ओम जय जगदीश हरे...


मात-पिता तुम मेरे, शरण गहूं किसकी।
तुम बिन और न दूजा, आस करूं जिसकी॥
ओम जय जगदीश हरे...


तुम पूरन परमात्मा, तुम अंतरयामी।
पारब्रह्म परेमश्वर, तुम सबके स्वामी॥
ओम जय जगदीश हरे...


तुम करुणा के सागर तुम पालनकर्ता।
मैं मूरख खल कामी, कृपा करो भर्ता॥
ओम जय जगदीश हरे...


तुम हो एक अगोचर, सबके प्राणपति।
किस विधि मिलूं दयामय! तुमको मैं कुमति॥
ओम जय जगदीश हरे...


दीनबंधु दुखहर्ता, तुम ठाकुर मेरे।
अपने हाथ उठाओ, द्वार पड़ा तेरे॥
ओम जय जगदीश हरे...


विषय विकार मिटाओ, पाप हरो देवा।
श्रद्धा-भक्ति बढ़ाओ, संतन की सेवा॥
ओम जय जगदीश हरे...


तन-मन-धन और संपत्ति, सब कुछ है तेरा।
तेरा तुझको अर्पण क्या लागे मेरा॥
ओम जय जगदीश हरे...


जगदीश्वरजी की आरती जो कोई नर गावे।
कहत शिवानंद स्वामी, मनवांछित फल पावे॥
ओम जय जगदीश हरे...


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)