Benefits of dhoop batti in pooja in hindi: हिंदू धर्म में देवी-देवतओं की पूजा विधि-विधान से करने के कुछ नियम बताए गए हैं. इन नियमों का पालन करने से ही पूजा का पूरा फल मिलता है. वहीं पूजा में की गई गलतियां भगवान को नाराज कर सकती हैं और जीवन में संकट, मुसीबतें ला सकती है. आज हम पूजा में अगरबत्ती-धूपबत्ती जलाने से जुड़े कुछ नियमों के बारे में जानते हैं. 


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पूजा में धूपबत्ती जलाएं या अगरबत्ती


शास्त्रों में पूजा-पाठ के दौरान अगरबत्ती जलाने का कोई उल्लेख नहीं मिलता है. अगरबत्ती जलाना स्वास्थ्य के लिए भी हानिकारक होता है. अगरबत्ती का ज्‍यादा मात्रा में धुआं सांस से जुड़ी समस्‍या दे सकता है. वहीं अगरबत्ती बनाने में बांस का उपयोग किया जाता है और बांस जलाना अशुभ माना जाता है. इसलिए पूजा-पाठ में अगरबत्ती नहीं जलाना चाहिए. 


वहीं पूजा में धूपबत्ती जलाना कई लाभ देता है. घर में रोजाना धूपबत्ती जलाने से घर में सुख और शांति रहती है. माहौल में सकारात्‍मक ऊर्जा का संचार होता है, लोग तनाव मुक्त रहते हैं. धूपबत्ती जलाने से कई वास्‍तु दोष दूर होते हैं. साथ ही धूप को बनाने में कई पेड़ों की लकड़ियों, छाल, चंदन आदि का उपयोग किया जाता है, जिनका संबंध विभिन्‍न ग्रहों से होता है. लिहाजा धूपबत्ती जलाने से कई ग्रह शांत होते हैं और ग्रह दोष भी दूर होते हैं.


अगरबत्ती जलाने से होते हैं ये नुकसान 


- मान्‍यता है कि बांस जलाने से वंश की हानि होती है. चूंकि अगरबत्ती बनाने में बांस का उपयोग होता है, इस वजह से अगरबत्ती जलाने से बचना चाहिए.


- ज्‍योतिष के अनुसार बांस जलाने से पितृ दोष लगता है. 


- साथ ही बांस जलाना इसलिए भी अशुभ होता है क्‍योंकि हिंदू धर्म में अंतिम संस्कार के समय बांस का उपयोग होता है. बांस पर ही शव यात्रा निकाली जाती है और दाह संस्कार के समय भी कपाल क्रिया बांस से ही करते हैं.


- किस्मत चमकाने के लिए, तरक्‍की पाने के लिए वास्‍तु शास्‍त्र और फेंगशुई में बांस का पौधा लगाने की सलाह दी जाती है. यदि इतने शुभ माने गए बांस को जलाया जाए तो यह दुर्भाग्य को बढ़ाता है. 


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्‍य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)