Chanakya Niti for Women: चाणक्‍य नीति में व्‍यवहारिक जीवन की बहुत महत्‍वपूर्ण बातें बताई गई हैं. इसमें स्‍त्री-पुरुष की कमियों और अच्‍छाइयों के बारे में भी बताया गया है. चाणक्‍य नीति बताती है कि किस परिस्थिति में व्‍यक्ति को कैसा व्‍यवहार करना चाहिए. आचार्य चाणक्‍य ने महिलाओं की विशेषता बताते हुए कहा कि उसमें यदि कुछ कमियां हों तो पूरे परिवार का जीवन बर्बाद हो जाता है. वहीं उसके कुछ गुण घर को स्‍वर्ग सा सुंदर और खुशहाल बना देता है. आइए जानते हैं चाणक्‍य नीति में बताई गई महिलाओं की विशेषताएं और उससे जीवन पर पड़ने वाला असर- 


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चाणक्‍य नीति में बताए गए महिलाओं के गुण-अवगुण 


चाणक्‍य नीति के अनुसार पत्‍नी में कुछ खूबियां होनी जरूरी हैं, वरना पूरा परिवार बदनामी और बर्बादी झेलता है. 
 
- चाणक्‍य नीति कहती है कि यदि पत्‍नी का चरित्र अच्‍छा ना हो, वह सुख-दुख में अपने पति का साथ न दे तो ऐसा परिवार वक्‍त की छोटी सी मार भी नहीं झेल पाता है. 


- पत्‍नी का आचरण अच्‍छा न हो, वह झगड़ालू, आलसी, बेहद खर्चीली हो तो ऐसा परिवार जल्‍द ही बदनामी और गरीबी में घिर जाता है. ऐसे घरों में ना तो अतिथि आते हैं और ना ही मां लक्ष्‍मी वास करती हैं. 


- जबकि संस्‍कारी पत्‍नी अपने बच्‍चों को अच्‍छे संस्‍कार देती है, पति का अच्‍छे-बुरे वक्‍त में साथ देती है. ऐसा परिवार बड़ी से बड़ी चुनौती भी आसानी से पार कर जाता है. ऐसी पत्‍नी मां लक्ष्‍मी का रूप होती है, पति और परिवार के लोगों को हमेशा उसका बहुत सम्‍मान करना चाहिए. 


- यदि पत्‍नी का आचरण अच्‍छा न हो तो उसमें संस्‍कार न हों, या वह दुष्‍ट हो तो ऐसी पत्‍नी का साथ अच्‍छा-भला जीवन भी तबाह कर देता है. ऐसे परिवार में कभी सुख-शांति नहीं रहती है. 



(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)


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