Gopashtami AArti: हिंदू पंचांग के अनुसार हर साल कार्तिक महीने में शुक्ल पक्ष की अष्टमी के दिन गोपाष्टमी का पर्व मनाया जाता है. इस दिन दिन गाय और उनके बछड़ों की सेवा और पूजा की जाती है. यूं तो गोपाष्टमी बृज, मथुरा-वृंदावन का मुख्य पर्व माना जाता है लेकिन इंटरनेट की सुविधा आने के कारण यह पर्व धीरे-धीरे देश के कई हिस्सों में मनाया जाने लगा है.


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इस बार यह पर्व 9 नवंबर 2024 दिन शनिवार को मनाया जाएगा. यह दिन भगवान कृष्ण को समर्पित माना जाता है. इस दिन गौ माता की पूजा करने के बाद उनकी आरती की जाती है. भक्तों की सुविधा के लिए यहां गोपाष्टमी की आरती लिख दी गई है. भक्त अगर चाहें तो पूजा के बाद यहां से आरती पढ़ सकते हैं.


गौ माता की पूरी आरती यहां पढ़ें


ॐ जय जय गौमाता, मैया जय जय गौमाता
जो कोई तुमको ध्याता, त्रिभुवन सुख पाता


सुख समृद्धि प्रदायनी, गौ की कृपा मिले
जो करे गौ की सेवा, पल में विपत्ति टले


आयु ओज विकासिनी, जन जन की माई
शत्रु मित्र सुत जाने, सब की सुख दाई


सुर सौभाग्य विधायिनी, अमृती दुग्ध दियो
अखिल विश्व नर नारी, शिव अभिषेक कियो


ममतामयी मन भाविनी, तुम ही जग माता
जग की पालनहारी, कामधेनु माता


संकट रोग विनाशिनी, सुर महिमा गाई
गौ शाला की सेवा, संतन मन भाई 


गौ मां की रक्षा हित, हरी अवतार लियो
गौ पालक गौपाला, शुभ संदेश दियो


श्री गौमाता की आरती, जो कोई सुत गावे
पदम् कहत वे तरणी, भव से तर जावे। 


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)