Surya Mantra and Chalisa: हिंदू धर्म में सूर्य से जुड़े कई बड़े पर्व मनाए जाते हैं. जैसे-मकर संक्रांति, छठ आदि. ज्‍योतिष में भी सूर्य को ग्रहों का राजा कहा गया है. सूर्य के हर महीने होने वाले राशि गोचर को संक्रांति कहा जाता है. सूर्य के मकर राशि में गोचर का मकर संक्रांति पर्व तो पूरे देश में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है. धर्म, ज्‍योतिष शास्‍त्र के अनुसार यदि सूर्य देव की कृपा हो तो व्‍यक्ति को जीवन में बड़ी सफलता मिलती है. वह आत्‍मविश्‍वास से भरपूर रहता है और उसमें नेतृत्‍व का गुण होता है. सूर्य की कृपा पाने के लिए सूर्य मंत्रों का जाप और सूर्य चालीसा का पाठ बहुत प्रभावी तरीका है. 


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सूर्य चालीसा पढ़ने के लाभ 


सूर्य चालीसा पढ़ने से कुंडली में सूर्य ग्रह मजबूत होता है, वरना कमजोर सूर्य जातक को ढेरों समस्‍याएं देता है. जैसे-कमजोर सेहत, आत्‍मविश्‍वास की कमी, मानहानि, असफलता आदि. वहीं कुंडली में सूर्य का मजबूत होना बहुत लाभ देता है. लिहाजा रोज सुबह स्‍नान करके सूर्य देव को अर्घ्‍य दें और फिर सूर्य चालीसा का पाठ करें, इससे बहुत लाभ होगा. 


- सूर्य की पूजा करने, सूर्य चालीसा पढ़ने से जातक दीर्घायु‌ होता है. उसकी सेहत अच्‍छी रहती है. यदि रोज सूर्य चालीसा न पढ़ सकें तो कम से कम रविवार के लिए जरूर सूर्य चालीसा का पाठ करें. 


- यदि कई बीमारियों, निराशा के शिकार हैं तो रोज सूर्य चालीसा का पाठ करें. इससे सेहत संबंधी समस्‍याएं दूर होती हैं और व्‍यक्ति निरोगी रहता है. 


- सूर्य चालीसा का पाठ व्‍यक्ति में आत्‍मविश्‍वास, ऊर्जा और साहस का संचार करता है. इससे उसे कामों में सफलता मिलती है. सूर्य नेतृत्‍व क्षमता देते हैं. मजबूत सूर्य व्‍यक्ति को राजनीति में ऊंचा मुकाम दिलाता है. इसके अलावा भी किसी क्षेत्र में जाएं तो खूब तरक्‍की मिलती है. 


- सूर्य चालीसा का पाठ करने से अकाल मृत्यु का खतरा दूर होता है. 


- सूर्य चालीसा का नियमित पाठ करने वाले, अपने कामों पर समय से और पूरी ईमानदारी से पूरा करने वाले को खूब सफलता मिलती है. उसकी यश- कीर्ति बढ़ती है. समाज में मान सम्मान बढ़ता है. 


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)


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