सिडनी: खेल जगत ने कोरोना वायरस (Coronavirus) से बचने का नया तरीका ढूंढ़ लिया है. अब ज्यादातर मैच बंद दरवाजों के भीतर खेले जा रहे हैं. यानी, स्टेडियम में मैच तो होते हैं, लेकिन उन्हें देखने के लिए कोई दर्शक नहीं होता. इन मैचों को सिर्फ टीवी पर देखा जा सकता है. क्या दर्शकों के नहीं होने से मैच प्रभावित हो सकता है? ज्यादातर खेलों में शायद इसका जवाब नहीं हो. लेकिन क्रिकेट का खेल बाकियों से थोड़ा इतर है. इसमें कुछ तो ऐसा है, जिसके कारण दर्शकों की मौजूदगी जरूरी हो जाती है. इसका एक नमूना ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड के मैच में देखने को मिला. 

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ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड (Australia vs New Zealand) के बीच शुक्रवार को सिडनी में वनडे मैच खेला गया. ऑस्ट्रेलिया (Australia) ने मैच में पहले बैटिंग करते हुए 7 विकेट पर 258 रन बनाए. उसकी ओर से डेविड वॉर्नर ने सबसे अधिक 67 रन बनाए. एरॉन फिंच (60) और मार्नस लैबुशेन (56) ने भी अर्धशतक लगाए. मिचेल मार्श ने 27 रन की पारी खेली. 

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ऑस्ट्रेलिया की पारी में चार छक्के लगे. कप्तान एरॉन फिंच ने दो और स्टीवन स्मिथ और पैट कमिंस ने एक-एक छक्का लगाया. ऑस्ट्रेलिया ने जब छक्के लगाए, तब महसूस हुआ कि दर्शक क्यों जरूरी हैं. दरअसल, जब क्रिकेट में कोई बड़ा शॉट लगता है तो गेंद दर्शकदीर्घा में पहुंच जाती है. दर्शक गेंद कैच करके या उठाकर खिलाड़ियों को लौटा देते हैं. 
 



 


 


ऑस्ट्रेलिया-न्यूजीलैंड (New Zealand vs Australia) के मुकाबले में दर्शक जब थे ही नहीं, तो गेंद कौन लौटाता. नतीजा ये हुआ कि क्रिकेटरों को ही गेंद लेने के लिए स्टैंड्स में जाना पड़ा. ऐसा ही एक वीडियो क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया ने सोशल मीडिया पर शेयर किया, जिसमें न्यूजीलैंड के लॉकी फर्ग्युसन (Lockie Ferguson) स्टैंड से गेंद को थ्रो कर रहे हैं. 

बता दें कि भारत और दक्षिण अफ्रीका (India vs South Africa) के बीच भी रविवार को बिना दर्शकों के मैच देखा जाएगा. यह मैच लखनऊ में खेला जाएगा. यानी, लखनऊ में भी छक्के लगने पर क्रिकेटरों को गेंद उठाने के लिए स्टैंड में जाना पड़ेगा.