हरमनप्रीत का गोली की रफ्तार वाला शॉट...श्रीजेश की दिलेरी और भारत जीत गया मेडल, 52 साल का इंतजार खत्म
Indian Hockey Team Paris Olympics 2024: भारतीय हॉकी टीम ने पेरिस ओलंपिक में कमाल कर दिया. उसने स्पेन को 2-1 से हराकर ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम कर दिया. कप्तान हरमनप्रीत सिंह, गोलकीपर पीआर श्रीजेश और पूरी टीम ने मिलकर इतिहास रच दिया.
Indian Hockey Team Paris Olympics 2024: भारतीय हॉकी टीम ने पेरिस ओलंपिक में कमाल कर दिया. उसने स्पेन को 2-1 से हराकर ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम कर दिया. कप्तान हरमनप्रीत सिंह, गोलकीपर पीआर श्रीजेश और पूरी टीम ने मिलकर इतिहास रच दिया. सेमीफाइनल में जर्मनी से हारने के बाद टीम का हौसला डगमगा गया था. ऐसा लग रहा था कि कहीं ब्रॉन्ज मेडल मैच में इसका असर न देखने को मिले. भारतीय हॉकी टीम ने ऐसा नहीं होने दिया और देश का नाम रोशन कर दिया.
हरमन ने देश को झुमाया
स्पेन ने मैच में पहला गोल करके बढ़त हासिल कर ली थी. इससे फैंस डर गए थे. हाफटाइम तक स्पेन की टीम आगे रही. इसके बाद तीसरे क्वार्टर में टीम इंडिया ने जबरदस्त वापसी की. कप्तान हरमन ने अपनी स्टिक का जादू दिखाया. उन्होंने 4 मिनट के अंदर लगातार दो गोल करके फैंस को खुशी से झूमा दिया. 30वें और 33वें मिनट में हरमन ने पेनल्टी कॉर्नर पर गोली की रफ्तार से दनादन 2 गोल दाग दिए.
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हरमनप्रीत ने दागे दनादन गोल
हरमनप्रीत के गोल से स्पेन की टीम सदमे में चली गई. शुरुआती हाफटाइम में शानदार हॉकी खेलने वाली स्पैनिश टीम के हौसले पस्त हो गए. वह लगतारा गलतियां करने लगी. भारत के 2 गोल ने उसके ऊपर भारी दबाव बना दिया. ऐसा लग रहा था कि भारतीय टीम आसनी से मैच को जीत जाएगी, तभी आखिरी मिनट में टीम से कुछ गलतियां हुईं. इससे स्पेन को लगातार दो पेनल्टी कॉर्नर मिल गए.
आखिरी मैच में छा गए श्रीजेश
आखिरी मिनट में स्पेन को पेनल्टी कॉर्नर मिलने से भारतीय फैंस की सांसें थम गईं. यहां भारत को बचाने के लिए दीवार बन गए गोलकीपर पीआर श्रीजेश. उन्होंने देश को हारने नहीं दिया. श्रीजेश ने लगातार 2 बचाव किए. इससे पहले भी उन्होंने मैच में कई बचाव किए थे. आखिरी मिनट में उनके द्वारा किए गए बचाव ने देश को ब्रॉन्ज मेडल दिला दिया. श्रीजेश ने अपने करियर के आखिरी मैच में टीम को जीत दिला दी. उन्होंने हॉकी से संन्यास ले लिया.
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52 साल का इंतजार खत्म
भारतीय हॉकी टीम ने लगातार दूसरी बार ओलंपिक गेम्स में ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया है. 1972 के बाद पहली बार हुआ है जब देश को लगातार दो ओलंपिक खेलों में हॉकी से मेडल मिले हैं. 1968 मैक्सिको ओलंपिक में देश ने ब्रॉन्ज जीता था. उसके बाद 1972 म्यूनिख ओलंपिक में भी टीम ने ब्रॉन्ज अपने नाम किया था. भारतीय हॉकी टीम ने ओलंपिक में 13वां मेडल जीता है. वह सबसे ज्यादा मेडल जीतने वाली टीम है.