Benefits Of Uttanpadasana: योग एक ऐसी चीज है, जो हमारे शरीर को ऊर्जा देता है. कई योगाचार्य कहते हैं कि नियमित रूप से योग करने पर मन और आत्म शांति की एहसास होता है. योग शरीर को मजबूत, सुडौल और लचीला बनाने में मदद करता है.  इससे शरीर को कई रोगों से लड़ने की प्रतिरोधन क्षमता शक्ति मिलती है. नियमित रूप से योग करने से बॉडी और माइंड फिट रहता है. आज हम आपके लिए उत्तानपादासन (Uttanpadasana) के फायदे लेकर आए हैं.  


क्या है उत्तानपादासन?


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उत्तानपादासन (Uttanpadasana) में उत्तान का अर्थ होता है ऊपर उठा हुआ और पाद का अर्थ होता है 'पैर'. इस आसन में पैर को ऊपर की और ले जाया जाता है. इस वजह से इसे उत्तानपाद आसन कहा जाता है. इसका नियमित अभ्यास करने से आप कई समस्याओं से बच सकते हैं.  


उत्तानपादासन करने की विधि (Method of Doing Uttanpadasana)


-सबसे पहले एक समतल जगह पर लेट जाएं
-अब दोनों पैर के अंगूठों को एक साथ मिलाएं
-इसके बाद सांस लेकर खुद को सामान्य कर लें
-अब लंबी सांस लेते हुए पैरों को ऊपर उठाएं
-याद रखें कि पैर 30 डिग्री के आसपास ही ऊपर उठाना है
-अब कुछ देर तक पैर को यूं ही ऊपर रखें और धीरे-धीरे सांस लें और छोड़ें
-30 सेकंड बाद गहरी सांस को छोड़ते हुए पैर वापस नीचे लाएं
-इस तरह उत्तानपादासन का एक चक्र होता है
-शुरू में 2 से 3 चक्र करें और बाद में संख्या बढ़ा लें



उत्तानपादासन के फायदे (Benefits of Uttanpadasana)


1. इसके अभ्यास से पेट दर्द में राहत मिलती है.
2. जिन लोगों को पाचन संबंधी समस्या है, उन्हें राहत मिलेगी.
3. नाभि को संतुलित करने में यह आसन सबसे अधिक महत्वपूर्ण है.
4. इस आसन को करने से पेट की चर्बी कम होती है.
5. इस आसन के माध्यमसे एब्स (abs) भी बनाये जा सकते है.
6. इस आसन के माध्यम से कमर दर्द में भी राहत मिलती है.



उत्तानपादासन करने के दौरान बरतें ये सावधानियां


-पेट की सर्जरी होने पर भी इसका अभ्यास न करें
-गर्भवती महिलाएं भी इस आसन को न करें
-इस आसन को हमेशा खाली पेट ही करें
-कमर दर्द होने पर इसे कभी न करें


(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी घरेलू नुस्खों और सामान्य जानकारियों पर आधारित है. इसे अपनाने से पहले चिकित्सीय सलाह जरूर लें. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)