Fight in Cockpit: विमान के कॉकपिट में पायलटों ने एक-दूसरे से की मारपीट, रिपोर्ट में सामने आया चौंकाने वाला सच
Fight in Cockpit: जून में हुई इस घटना में जैसे ही विमान थोड़ी ऊंचाई पर पहुंचा तो दोनों पायलट आपस में उलझ गए और कॉलर पकड़कर एक दूसरे को पीटने लगे. कॉकपिट में लड़ाई की आवाज जब केबिन क्रू ने सुनी तो उन्होंने आकर बीचबचाव किया और एक क्रू सदस्य पूरी फ्लाइट के दौरान कॉकपिट में ही रहा.
Pilots Fights in Cockpit: कॉकपिट में हाथापाई करने वाले एयर फ्रांस के दो पायलटों को सस्पेंड कर दिया गया है. दोनों पायलट जून के महीने में कॉकपिट में लड़ पड़े थे. उस वक्त फ्लाइट जेनेवा से पेरिस जा रही थी. एयर फ्रांस ने यह आधिकारिक जानकारी दी है. उन्होंने कहा कि पायलटों की हाथापाई का असर फ्लाइट पर नहीं पड़ा और उसने सुरक्षित लैंडिंग की. एयरलाइंस ने कहा कि यात्रियों की सुरक्षा के लिए कंपनी प्रतिबद्ध है.
स्विट्जरलैंड ला ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक, फ्लाइट टेकऑफ होने के कुछ ही वक्त बाद पायलट और को-पायलट की लड़ाई शुरू हो गई. दोनों ने एक-दूसरे का कॉलर पकड़ लिया और दोनों में मारपीट हो गई. रिपोर्ट के मुताबिक, बीच-बचाव के लिए केबिन क्रू को आना पड़ा और एक क्रू मेंबर कॉकपिट में पायलट के साथ ही रहा.
रिपोर्ट में सामने आई बात
लड़ाई की खबर तब बाहर आई जब एयर फ्रांस की इन्वेस्टिगेशन एजेंसी बीईए ने बुधवार को एक रिपोर्ट जारी की, जिसमें कहा गया कि एयर फ्रांस के कुछ पायलट्स में सुरक्षा घटनाओं के दौरान प्रक्रियाओं के संबंध में कठोरता का अभाव है.
अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक, जून में हुई इस घटना में जैसे ही विमान थोड़ी ऊंचाई पर पहुंचा तो दोनों पायलट आपस में उलझ गए और कॉलर पकड़कर एक दूसरे को पीटने लगे. कॉकपिट में लड़ाई की आवाज जब केबिन क्रू ने सुनी तो उन्होंने आकर बीचबचाव किया और एक क्रू सदस्य पूरी फ्लाइट के दौरान कॉकपिट में ही रहा.बीईए ने कहा कि उसे घटना के बारे में सूचित नहीं किया गया था क्योंकि उड़ान को कोई नुकसान नहीं पहुंचा था.
फ्यूल लीक मामले पर भी बीईए ने कही बात
साल 2020 के दिसंबर में हुई एक अन्य घटना पर भी बीईए की रिपोर्ट में कई बातें सामने आईं. इस दौरान भी एयर फ्रांस की फ्लाइट में पायलटों के बीच लड़ाई हो गई थी. उस वक्त विमान चाड के ऊपर से गुजर रहा था. इस दौरान पाया गया कि विमान के टैंक से 1.4 टन फ्यूल गायब था. रिपोर्ट के निष्कर्ष में कहा गया कि क्रू मेंबर्स ने सुरक्षा प्रक्रियाओं का पालन नहीं किया, जिससे आग लगने का जोखिम बढ़ गया. हालांकि विमान ठीक तरह से चाड में लैंड कर गया था. रिपोर्ट में कहा गया कि 2017 से 2022 के बीच तीन ऐसे ही मामले सामने आए हैं, जहां सेफ्टी प्रोटोकॉल्स के बजाय पायलटों ने स्थिति की अपनी तरह से समीक्षा की.
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