Kolkata Rape-Murder Case: न्यूयॉर्क से लंदन तक, इंसाफ की मांग ने सीमाओं को किया धुंधला
Kolkata Rape-Murder Case News: न्यूयॉर्क शहर के टाइम्स स्क्वायर से लेकर कनाडा तक; ब्रिटेन से लेकर जर्मनी और बांग्लादेश तक, न्याय की लड़ाई लड़ रहे लोगों के साथ एकजुटता दिखाने के लिए दुनिया भर में विरोध प्रदर्शन आयोजित किए जा रहे हैं.
Kolkata Rape-Murder Case: कोलकाता के आरजी कर अस्पताल में पिछले सप्ताह एक ट्रेनी डॉक्टर के बलात्कार और हत्या का मामला सामने आने के बाद न सिर्फ देश बल्कि विदेश में भी लोग अपना विरोध जता रहे हैं. न्यूयॉर्क शहर के टाइम्स स्क्वायर से लेकर कनाडा तक; ब्रिटेन से लेकर जर्मनी और बांग्लादेश तक, न्याय की लड़ाई लड़ रहे लोगों के साथ एकजुटता दिखाने के लिए दुनिया भर में विरोध प्रदर्शन आयोजित किए जा रहे हैं.
द टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक 14 अगस्त को टाइम्स स्क्वायर पर आधी रात को हुए विरोध प्रदर्शन में भाग लेने वाले सायंतन दास ने कहा कि बंगाल में छात्रों और महिलाओं के साथ एकजुटता दिखाने के लिए लगभग 40 लोग एकत्र हुए थे.
दास ने कहा, ‘न्यूयॉर्क के कुछ वैज्ञानिकों और शोधकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन का आयोजन किया और हमने पर्चे और पोस्टर ले रखे थे. आस-पास कई भारतीय भी थे और उन्होंने हमसे घटना के बारे में पूछा. अंत में, जब हमने राष्ट्रगान गाया, तो वे भी हमारे साथ शामिल हो गए.’
लॉस एंजिल्स में रविवार को होगा प्रदर्शन
रविवार को लॉस एंजिल्स के भारतीय हॉलीवुड साइनेज के सामने विरोध प्रदर्शन करने के लिए सुबह 11 बजे लेक हॉलीवुड पार्क में इक्ट्ठा होंगे.
कोलकाता में पली-बढ़ी एल.ए. की शिक्षिका बबली चक्रवर्ती ने कहा, ‘करीब 250 भारतीयों के आने की उम्मीद है. पहले बलात्कार पीड़िताएं शर्म के कारण कभी बोलती नहीं थीं. अब, अपनी आवाज उठाना बहुत जरूरी है.’
ह्यूस्टन में भी सड़क पर उतरे लोग
ह्यूस्टन दुर्गाबाड़ी सोसायटी और टैगोर सोसायटी ऑफ ह्यूस्टन के सदस्यों सहित ह्यूस्टन का बंगाली समुदाय कोलकाता की घटना का विरोध करने के लिए बाहर आया.
टीओआई के मुताबिक रैली आयोजकों में से एक रितुपर्णा रॉय ने कहा, ‘भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज़ उठाने वाली एक शिक्षित कामकाजी महिला के साथ बलात्कार और हत्या की घटना चिकित्सा संस्थानों में पूरी तरह से व्यवस्थित विफलता की ओर इशारा करती है.’
शिकागो में प्रदर्शन
शिकागो में बंगाली समुदाय ने गुरुवार को विरोध-प्रदर्शन और सतर्कता का आयोजन किया. वकील शर्मिष्ठा बनर्जी ने कहा, ‘24 घंटे के नोटिस पर विरोध प्रदर्शन के लिए एक साथ आए. हम बड़े पैमाने पर संगठित, समर्थन, विरोध और लड़ाई जारी रखेंगे.’
अटलांटा के अम्बरीश मित्रा ने कहा, ‘14 अगस्त को शाम 5.45 बजे से 8.15 बजे तक अटलांटा में करीब 150 लोग न्याय की मांग करने और महिलाओं के खिलाफ भेदभाव और हिंसा को दूर करने के लिए एक व्यवस्थित बदलाव की अपील करने के लिए एकत्र हुए.’
जर्मनी
जर्मनी के कोलोन में प्रवासी बंगाली समुदाय के लगभग 35 सदस्यों ने अपने गैर-बंगाली दोस्तों के साथ मिलकर विरोध जताने के लिए 15 अगस्त को मुख्य स्टेशन चौक स्थित कोलोन कैथेड्रल की सीढ़ियों पर इक्ट्ठा होने का फैसला किया.
कोलकाता की अंग्रेजी शिक्षिका सुकन्या चक्रवर्ती (36) ने विरोध प्रदर्शन की शुरुआत ‘किसी को भी शुभ संध्या की शुभकामनाएं न देने’ का निर्णय लेकर की और अपने भाषण को ‘कोई दया नहीं’ कहकर समाप्त किया.
सौमी चक्रवर्ती और सुकन्या चक्रवर्ती के साथ बैठक का आयोजन करने वाले देबाश्मिट बिस्वास ने अपने शहर में महिलाओं की दुर्दशा पर अपनी मां की एक कविता पढ़ी. बैठक का समापन हाथ में मोमबत्तियां लेकर न्याय की मांग के साथ हुआ.’
यूके
गृहिणी अमृता रॉय 14 अगस्त को ब्रिटेन के लीड्स में क्राउन पॉइंट शॉपिंग सेंटर में अपने साथियों के साथ शामिल हुईं.
रॉय ने कहा. ‘मैं आहत और क्रोधित हूं. हमने पूरी तरह से काले कपड़े पहने और इस मुद्दे पर बोलने से पहले एक मिनट का मौन रखा. एक भी बलात्कारी को सजा से नहीं बचना चाहिए. कोई भी इस मामले को दबाने की हिम्मत नहीं कर सकता. मैं एक तेज जांच में पारदर्शिता की मांग करती हूं.’
ब्रिटेन में काम कर रहे बंगाल और भारत के अन्य हिस्सों के डॉक्टरों ने बुधवार को मैनचेस्टर में विरोध प्रदर्शन किया. प्रोटेस्ट में अन्य भारतीयों ने भी शामिल होकर मोमबत्ती मार्च में भाग लिया.
कैम्ब्रिज में नवजात शिशु रोग विशेषज्ञ और आरजी कार के पूर्व छात्र अरुणव धर ने कहा, ‘यह एक चौंकाने वाली घटना है.’
लंदन के ट्रिनिटी चर्च, एडिनबर्ग में प्रिंसेस स्ट्रीट और पोलैंड के क्राको के मुख्य चौराहे सहित अन्य क्षेत्रों में भी विरोध प्रदर्शन फैल गया.
कनाडा
कनाडा के थिसलटाउन सामुदायिक केंद्र में मोमबत्ती जलाकर प्रार्थना सभा का आयोजन किया गया, जबकि ऑस्टिन के एलिजाबेथ मिलबर्न पार्क में बहुत से लोग इक्ट्ठा हुए. मैसाचुसेट्स के एशलैंड और हॉपकिंटन और हॉलिस्टन के नजदीकी शहरों में बंगाली समुदाय ने एक कार्यक्रम आयोजित किया.
टीओआई के मुताबिक शुक्रवार की रात को ढाका यूनिवरिस्टी में छात्राओं ने आर.जी. कर घटना के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया.
इस विरोध प्रदर्शन का उद्देश्य बांग्लादेश में बलात्कार की शिकार उन सभी महिलाओं के लिए आवाज़ उठाना भी था, जिन्हें अतीत में न्याय से वंचित रखा गया है. साथ ही, अपराधियों के लिए त्वरित सुनवाई की मांग भी की गई.
विरोध प्रदर्शन में शामिल डॉक्टर से अभिनेता बने अज़मेरी हक बधों ने कहा, ‘मैंने अपना विरोध दर्ज कराने के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल किया. ये अपराधी खुलेआम घूमते हैं और महिलाओं पर बर्बर हमले करते हैं. आरजी कर की घटना कोई अकेली घटना नहीं है. किसी को न्याय नहीं मिलता. इस मुद्दे को वैश्विक स्तर पर संबोधित करना महत्वपूर्ण है.’
Photo courtesy- Reuters