कोरोना वेरिएंट B.1.617.2 पर Oxford/Astrazeneca वैक्सीन की सिंगल डोज नाकाफी, UK स्टडी में खुलासा
कोरोना वायरस (Coronavirus) के नए वेरिएंट के खिलाफ ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनेका वैक्सीन (Oxford/AstraZeneca Vaccine) की सिंगल डोज कम प्रभावी साबित हो रही है. यूके (UK) सरकार द्वारा जारी आंकड़े इस बात की ओर इशारा कर रहे हैं.
नई दिल्ली: कोरोना वायरस (Coronavirus) के नए वेरिएंट के खिलाफ ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनेका वैक्सीन (Oxford/AstraZeneca Vaccine) की सिंगल डोज कम प्रभावी साबित हो रही है. यूके (UK) सरकार द्वारा जारी आंकड़े इस बात की ओर इशारा कर रहे हैं. यूके सरकार की नई रिसर्च के मुताबिक कथित रूप से भारत में पाए गए कोरोना के नए वेरिएंट से मजबूत सुरक्षा देने के लिए कोविड-19 (Covid-19) वैक्सीन की 2 डोज लेना बेहद जरूरी है.
इंडियन वेरिएंट पर ब्रिटिश रिसर्च
इंग्लैंड यानी ब्रिटेन के पब्लिक हेल्थ इंग्लैंड (PHE) के आंकड़ों के मुताबिक, वैक्सीन की दो डोज लगने के बाद उसने भारत में पाए गए B.1.617.2 वेरिएंट के खिलाफ 81 फीसदी सुरक्षा प्रदान की. वहीं दक्षिण-पूर्व इंग्लैंड के केंट में पहली बार पहचाने गए B.1.1.7 वेरिएंट के खिलाफ 87 फीसदी सुरक्षा प्रदान की है.
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एक डोज में बस इतनी सुरक्षा
आंकड़ों के मुताबिक, वैक्सीन की एक डोज कोरोना के B.1.617.2 वेरिएंट पर 33 फीसदी ही कारगर साबित हुई वहीं B.1.1.7 वेरिएंट के खिलाफ 51 फीसदी कारगर साबित हुई. इसी तरह B.1.1.7 वेरिएंट के खिलाफ 51 फीसदी कारगर साबित हुई. फाइनेंशियल टाइम्स में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक इस वैक्सीन का सिंगल शॉट B.1.1.7 वेरिएंट की तुलना में B.1.617.2 पर 35 फीसदी कम सुरक्षा प्रदान करता है.
PHE ने बायोएनटेक/फाइजर और ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनेका (Oxford/AstraZeneca vaccine) वैक्सीन के डेटा से आकलन किया है. PHE ने कहा है कि ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनेका वैक्सीन की दो डोज 85 से 90फीसदी इफेक्टिव है.
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