ताइपे: पूरी दुनिया जब कोरोनो वायरस (Coronavirus) जैसी महामारी से लड़ रही है, तो चीन और विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के बीच संबंधों पर कई सवाल उठाए जा रहे हैं. गुरुवार को डब्लूएचओ के महानिदेशक डॉ टेड्रोस अदनोम घेब्रियेसस ने ताइवान पर नस्लवाद का आरोप लगाया.


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हाल ही में, चीन ने ताइवान पर WHO के खिलाफ जहर उगलने के आरोप लगाए थे. जिन्हें मालूम नहीं उन्हें बता दें कि, ताइवान एक ऐसा द्वीप है जिसे चीन अपना मानता है. जबकि ताइवान खुद को एक स्वतंत्र राष्ट्र कहता है, जिसकी लोकतांत्रिक रूप से चुनी हुई सरकार भी है.


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हालांकि, ताइवान के न्याय मंत्रालय ने एक ऑनलाइन कैंपेन का खुलासा किया है जिसे ताइवान के नाम पर डायरेक्टर-जनरल से माफी मांगने के लिए चलाया जा रहा था.


जांच में पाया गया कि चीनी इंटरनेट यूजर ताइवानी बनकर ताइवान सरकार की ओर से डॉ. घेब्रेयेसस से माफी मांगने के लिए ऑनलाइन पोस्ट कर रहे हैं. इंटरनेट पर इस तरह के कई संदेश दिखाई देने लगे हैं. हालांकि, इन संदेशों को पोस्ट करने वाले यूजर चीनी थे.


एक संदेश में कहा गया है, "मुझे बहुत शर्म आती है कि हमने टेड्रोस पर इतने दुर्भावनापूर्ण तरीके से हमला किया. मैं ताइवान की ओर से शर्मिंदा हूं और इसके लिए माफी मांगता हूं."


अब, इस तरह की पोस्ट ताइवान की प्रतिष्ठा में सेंध लगा रही हैं. ताइवान, यानी वो छोटा सा द्वीप जिसने कोरोनो वायरस से कड़ा मुकाबला किया. जहां मात्र 382 लोग ही कोरोना वायरस से संक्रमित हुए और केवल 6 मौतें हुईं. इसके साथ ही ताइवान अन्य देशों की मदद भी कर रहा है.


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