America Rastrapati Chunav: न्यूयॉर्क शहर में रिवरसाइड ड्राइव पर स्थित इस्लामिक कल्चरल सेंटर में आसपास के इलाकों से सैकड़ों मुसलमान शुक्रवार की नमाज पढ़ने आते हैं. नमाज के बाद गाजा के लोगों के लिए खास तौर पर दुआ होती है. 


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कॉरपोरेट क्षेत्र में काम करने वाले अली नियमित रूप से नमाज पढ़ते हैं, खास तौर पर शुक्रवार को. उनका कहना है कि पांच नवंबर को होने वाले राष्ट्रपति चुनाव में अंतरराष्ट्रीय मुद्दे मुसलमानों के स्थानीय मुद्दों पर हावी हो रहे हैं. 


'उससे जरूरी कोई मुद्दा नहीं'


उन्होंने कहा, ‘‘बहुत सारे मुद्दे हैं, लेकिन मुझे नहीं लगता कि गाजा में जो कुछ हम देख रहे हैं, उससे जरूरी कोई मुद्दा हो सकता है. मुस्लिम समुदाय का एक बड़ा हिस्सा उम्मीदवारों के बयानों और कार्यों से सहज महसूस नहीं कर रहा.” 


उन्होंने कहा, “ऐसा लगता है कि डेमोक्रेटिक पार्टी को डर है कि कहीं इजराइल समर्थक पक्ष नाराज न हो जाए. मुझे लगता है कि करुणा और सहानुभूति का यह अभाव बहुत निराशाजनक है.” इस राष्ट्रपति चुनाव में न्यूयॉर्क के मुसलमान एक जटिल राजनीतिक हालात का सामना कर रहे हैं. समुदाय घरेलू और अंतरराष्ट्रीय दोनों मुद्दों पर अपनी चिंताओं को लेकर पसोपेश में नजर आ रहा है. 


'युद्ध अब खत्म होना चाहिए'


गाजा की स्थिति इस प्रभावशाली मतदाता समूह के सदस्यों के लिए सबसे बड़ी चिंता का विषय है. इनमें से कई ने पश्चिम एशिया की स्थिति को संभालने को लेकर सरकार के तरीके पर साफ तौर से निराशा जताई.


न्यूयॉर्क के लॉन्ग आइलैंड के निवासी वकास कहते हैं, “हमारे लिए गाजा की स्थिति बहुत महत्वपूर्ण है. युद्ध समाप्त होना चाहिए, और हमें नहीं लगता कि मौजूदा सरकार इस मामले में कुछ खास कर रही है. गर्भपात के अधिकार और यहां तक ​​कि एलजीबीटीक्यू जैसे अन्य मुद्दे भी चिंताजनक हैं, लेकिन गाजा अभी सबसे ज्यादा चिंताजनक है.” 


‘इंस्टिट्यूट फॉर सोशल पॉलिसी एंड अंडरस्टैंडिंग’ (आईएसपीयू) ने हाल ही में तीन राज्यों (जॉर्जिया, पेंसिल्वेनिया और मिशिगन) में सर्वेक्षण किया, जिसमें पता चला कि गाजा में जारी युद्ध बहुसंख्यक मुस्लिम मतदाताओं (61 प्रतिशत) के लिए चिंता का सबसे बड़ा विषय है. सर्वेक्षण में यह भी कहा गया है कि यह सभी लिंग, आयु, जाति और दलीय आधारों के मुसलमानों के लिए सबसे बड़ा मुद्दा है.