नई दिल्लीः  मैनेजमेंट गुरु के तौर पर विख्यात अरिंदम चौधरी मुश्किलों में फंस गए हैं. न्हें दक्षिण दिल्‍ली के सीजीएसटी कमिशनरेट ने गिरफ्तार किया है. अरिंदम चौधरी और उनके एक सहयोगी को वित्‍त अधिनियम की धारा 89 के तहत गिरफ्तार किया गया है. चौधरी  इंडियन इंस्‍टीट्यूट ऑफ प्‍लांनिंग एंड मैंनेजमेंट (IIPM) के डायरेक्‍टर भी हैं. 


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23 करोड़ की टैक्स चोरी का आरोप
जानकारी के मुताबिक, मैंनेजमेंट अरिंंदम चौधरी को दक्षिण दिल्‍ली के सीजीएसटी कमिशनरेट ने गिरफ्तार किया है. उन पर करीब 23 करोड़ रुपये के क्रेडिट सेवा कर के केंद्रीय मूल्य वर्धित कर (सीईएनवीएटी) के कथित दावे का भुगतान न करने का आरोप है. बताया जा रहा है कि अरिंदम चौधरी और उनके सहयोगी गुरुदास मलिक ठाकुर को शुक्रवार की शाम 4 बजे गिरफ्तार किया गया है. 


14 दिन की न्यायिक हि्रासत में भेजा
गिरफ्तारी के बाद उन्हें एक स्‍थानीय कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उन्‍हें 14 दिन की हिरासत में भेज दिया गया है. दोनों को पटियाला हाउस कोर्ट में ड्यूटी मजिस्‍ट्रेट ज्‍योति माहेश्‍वरी के सामने पेश किया गया था.



सूत्रों ने बताया कि जांच चल रही है और दिल्ली सहित अन्य शहरों और विदेशों में चौधरी और उनकी कंपनी की संपत्तियों को इसमें कवर किया जाएगा. चौधरी और ठाकुर को तीन सितंबर, 2020 को अदालत में पेश किया जाएगा.


जाली मेडिकल सर्टिफिकेट मामले में भी हो चुके हैं गिरफ्तार
सामने आया है कि गिरफ्तारी के बाद अरिंदम चौधरी और उनकी कंपनी की दिल्‍ली और विदेश में स्थित सभी संपत्तियों की भी जांच की जाएगी. चौधरी की करीबी कंपनी में 90 फीसदी हिस्‍सेदारी है. बाकी की 10 फीसदी हिस्‍सेदारी उनकी पत्‍नी की है.



इससे पहले अरिंदम चौधरी को 14 मार्च को एक मामले में गिरफ्तार किया गया था. इसके बाद उन्हें जमानत दे दी गई थी. उस समय उन्‍हें कथित रूप से जाली मेडिकल सर्टिफिकेट पेश करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था.


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