Uttarakhand Lok Sabha Election 2024: पिछले दो चुनाव में खाता भी नहीं खोल पाई कांग्रेस, इस बार भी बीजेपी ने बनाई `बढ़त`
Uttarakhand Lok Sabha Election 2024: लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है. उत्तराखंड की सभी पांच लोकसभा सीटों पर पहले चरण में 19 अप्रैल को मतदान होगा जबकि वोटों की गिनती 4 जून को होगी. बीजेपी राज्य में एक बार फिर सभी पांचों सीटें जीतने की आस लगाए बैठी है. बता दें कि 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में पांचों सीटों पर बीजेपी को जीत मिली थी.
नई दिल्लीः Uttarakhand Lok Sabha Election 2024: लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है. उत्तराखंड की सभी पांच लोकसभा सीटों पर पहले चरण में 19 अप्रैल को मतदान होगा जबकि वोटों की गिनती 4 जून को होगी. बीजेपी राज्य में एक बार फिर सभी पांचों सीटें जीतने की आस लगाए बैठी है. पार्टी ने सभी पांचों सीटों पर प्रत्याशियों की घोषणा कर दी है जबकि कांग्रेस अभी 3 ही सीटों पर उम्मीदवारों का ऐलान कर सकी है. उम्मीदवारों की घोषणा में कांग्रेस पिछड़ती दिख रही है.
उत्तराखंड में नैनीताल-उधम सिंह नगर और अल्मोड़ा लोकसभा सीट कुमाऊं क्षेत्र में हैं जबकि बाकी तीन सीटें हरिद्वार, टिहरी गढ़वाल और गढ़वाल (पौड़ी) गढ़वाल क्षेत्र में आती हैं. साल 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में राज्य की पांचों सीटों पर बीजेपी को जीत मिली थी.
बीजेपी ने दो मौजूदा सांसदों के टिकट काटे
बीजेपी ने पांचों सीटों पर अपने उम्मीदवारों के नाम का ऐलान कर दिया है. पांच में से दो सांसदों के टिकट कटे हैं. बीजेपी ने पौड़ी गढ़वाल सीट से तीरथ सिंह रावत का टिकट काटकर पार्टी के राष्ट्रीय मीडिया प्रमुख अनिल बलूनी को उम्मीदवार बनाया है. वहीं हरिद्वार सीट से मौजूदा सांसद रमेश पोखरियाल निशंक का टिकट कटा है. उनकी जगह पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को टिकट मिला है.
वहीं बीजेपी ने तीन सीटों पर अपने मौजूदा सांसदों को मैदान में उतारा है. अजय भट्ट को नैनीताल-उधमसिंह नगर से, माला राज्य लक्ष्मी शाह को टिहरी गढ़वाल से और अजय टम्टा को अल्मोड़ा से फिर से मैदान में उतारा गया है.
कांग्रेस ने तीन सीटों पर ही घोषित किए प्रत्याशी
वहीं कांग्रेस अभी तक पांच में से तीन सीटों पर ही उम्मीदवार उतार पाई है जबकि दो पर अभी माथापच्ची जारी है जबकि लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान हो चुका है. कांग्रेस ने अभी तक हरिद्वार और नैनीताल-ऊधमसिंह नगर सीट से प्रत्याशी का नाम घोषित नहीं किया है. वहीं अल्मोड़ा सीट से पूर्व सांसद प्रदीप टम्टा, पौड़ी गढ़वाल से पूर्व प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल और टिहरी गढ़वाल सीट से पूर्व विधायक जोत सिंह गुनसोला को टिकट दिया है.
अजय भट्ट को मिली थी सबसे बड़ी जीत
साल 2019 के लोकसभा चुनाव में मौजूदा केंद्रीय पर्यटन और रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत को 3,39,096 वोटों से हराकर नैनीताल -उधम सिंह नगर सीट जीती थी. वोटों के अंतर के लिहाज से राज्य में उन्होंने सबसे बड़ी जीत दर्ज की थी. कुमाऊं क्षेत्र की दूसरी सीट अल्मोड़ा है, जो पहाड़ी राज्य की एकमात्र आरक्षित (एससी) सीट है. साल 2014 से यहां से भाजपा के अजय टम्टा जीतते आ रहे हैं. 2019 में उन्होंने कांग्रेस के प्रदीप टम्टा को 2,32,986 वोटों से हराया था.
पौड़ी गढ़वाल से तीरथ सिंह रावत जीते थे
गढ़वाल (पौड़ी) में पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने 2019 में भाजपा के दिग्गज भुवन चंद्र खंडूरी के बेटे और कांग्रेस के टिकट पर पहली बार चुनावी मैदान में उतरे मनीष खंडूरी को 3,02,669 वोटों से हराया था. वर्ष 2021 में पुष्कर सिंह धामी को राज्य का मुख्यमंत्री नियुक्त किए जाने से पहले तीरथ सिंह रावत चार महीने तक उत्तराखंड के मुख्यमंत्री भी रहे थे.
हरिद्वार से निशंक को मिली थी विजय
टिहरी राजघराने की माला राज्य लक्ष्मी शाह ने 2019 में कांग्रेस के प्रीतम सिंह को 3,00,586 वोटों से हराकर लगातार तीसरी बार टिहरी गढ़वाल संसदीय क्षेत्र से जीत हासिल की थी, जबकि पूर्व मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने हरिद्वार संसदीय क्षेत्र में कांग्रेस के अंबरीश कुमार को 2,58,729 वोटों से हराया था. वर्ष 2019 में इस सीट से पोखरियाल की यह लगातार दूसरी चुनावी जीत थी. 2014 में उन्होंने इस सीट पर हरीश रावत की पत्नी रेणुका को 1,77,822 वोटों से हराया था.
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