Antilia bomb case: मीठी नदी से गोताखोरों ने खोज निकाले CPU, Hard Disk और DVR
गोताखोरों ने नदी के गंदे पानी में कई दौर की खोज के बाद, अंत में दो कंप्यूटर सीपीयू या हार्ड ड्राइव, दो डिजिटल वीडियो रिकॉर्डर (DVR), एक लैपटॉप खोज निकाला. इसके साथ ही अज्ञात वाहनों के कुछ पंजीकरण नंबर प्लेटें भी नदी के तल से पाईं गई हैं.
मुंबईः राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने एसयूवी (SUV) मामले में एक बड़ी सफलता का संकेत देते हुए रविवार को मीठी नदी से कुछ इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों और अन्य महत्वपूर्ण सबूत हासिल करने में कामयाबी हासिल की, जिसे गिरफ्तार सहायक पुलिस निरीक्षक सचिन वाजे ने कथित तौर पर फेंक दिया था.
NIA गोताखोरों की एक टीम को बांद्रा कुर्ला कॉम्प्लेक्स के पास नदी की शाखा में ले गई, जहां जांच के लिए महत्वपूर्ण लेखों को सप्ताह पहले डंप किया गया था और एक खोज शुरू की गई थी.
NIA के अधिकारियों ने हालांकि संकेत दिया कि महत्वपूर्ण, वसूलियां अभी तक वेज या उनके सहयोगियों पर टिकी हैं, जिनके लिए आगे जांच की जाएगी.
जानिए, क्या-क्या मिला
गोताखोरों ने नदी के गंदे पानी में कई दौर की खोज के बाद, अंत में दो कंप्यूटर सीपीयू या हार्ड ड्राइव, दो डिजिटल वीडियो रिकॉर्डर (DVR), एक लैपटॉप खोज निकाला. इसके साथ ही अज्ञात वाहनों के कुछ पंजीकरण नंबर प्लेटें भी नदी के तल से पाईं गई हैं.
रविवार को सामने आए सबूतों को विश्लेषण के लिए केंद्रीय फॉरेंसिक साइंसेज लैबोरेटरी को भेजा जाएगा और जो भी डेटा संभव हो उसे ठीक किया जा सकता है.
NIA इस समय एंटीलिया इलाके में स्थित उद्योगपति मुकेश अंबानी के घर के पास 25 फरवरी को संदिग्ध हालत में खड़ी मिली एसयूवी स्कॉर्पियो से बरामद 20 जिलेटिन की छड़ें मिलने और एसयूवी के मालिक ठाणे के कारोबारी मनसुख हिरन की अचानक मौत हो जाने के मामले की जांच कर रही है.
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वझे के साथी रियाजुद्दीन काजी ने गायब की थी DVR
इसके पहले मुकेश अंबानी के घर एंटीलिया के बाहर विस्फोटक से भरी स्कॉर्पियो मिलने के मामले में NIA को एक और बड़ा सबूत हाथ लगा था. NIA को मिले एक वीडियो में सचिन वझे के साथ काम कर चुका पुलिस अफसर रियाजुद्दीन काजी नजर आया है, जिसमें वह इस केस से जुड़े सबूत मिटाने की कोशिश कर रहा है. रियाजुद्दीन काजी सचिन वझे का मददगार बताया जा रहा है, लेकिन उस पर कोई केस दर्ज नहीं हुआ है.
NIA के सूत्रों ने बताया कि जब ATS गाड़ी चोरी मामले की जांच कर रही थी, तब उसे पता चला कि रियाजुद्दीन काजी मुंबई के विक्रोली कन्नमवार नगर इलाके में स्थित एक नंबर प्लेट बनाने वाली शॉप में CCTV से जुड़ा DVR और कम्प्यूटर लेकर चला गया था. ATS को अपनी जांच में इस बात का भी पता चला था कि उस दुकान से कुछ महत्वपूर्ण सबूत गायब किए गए थे.
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